Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 13 Feb, 2025 11:16 AM
![usa had hatched a conspiracy to defeat pm modi](https://img.punjabkesari.in/multimedia/914/0/0X0/0/static.punjabkesari.in/2025_2image_11_16_383542021trump-ll.jpg)
अमेरिका के पूर्व विदेश विभाग अधिकारी माइक बेंज ने हाल ही में एक सनसनीखेज बयान दिया है, जिसमें उन्होंने दावा किया है कि अमेरिकी सरकार ने भारत और बांग्लादेश जैसी देशों की राजनीति में दखल देने के लिए कई तरह की साजिशें रचीं। बेंज के अनुसार, अमेरिका ने...
इंटरनेशनल डेस्क: अमेरिका के पूर्व विदेश विभाग अधिकारी माइक बेंज ने हाल ही में एक सनसनीखेज बयान दिया है, जिसमें उन्होंने दावा किया है कि अमेरिकी सरकार ने भारत और बांग्लादेश जैसी देशों की राजनीति में दखल देने के लिए कई तरह की साजिशें रचीं। बेंज के अनुसार, अमेरिका ने भारतीय आम चुनावों सहित अन्य देशों के चुनावों को प्रभावित करने के लिए मीडिया प्रभाव, सोशल मीडिया सेंसरशिप और विपक्षी आंदोलनों को आर्थिक मदद प्रदान की। माइक बेंज ने अपनी रिपोर्ट में यह दावा किया है कि अमेरिकी एजेंसियों ने चुनावों को प्रभावित करने और सरकारों को अस्थिर करने के लिए विभिन्न रणनीतियाँ अपनाईं। बेंज के मुताबिक, अमेरिका ने खासतौर पर भारतीय आम चुनाव 2019 में हस्तक्षेप करने की कोशिश की थी। उनका कहना था कि अमेरिकी सरकार से जुड़े संस्थानों ने इन देशों के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भी दबाव डाला था।
मोदी समर्थक कंटेंट पर दबाव
बेंज ने यह आरोप भी लगाया कि अमेरिका के विदेश विभाग ने सोशल मीडिया कंपनियों जैसे फेसबुक, वॉट्सऐप, यूट्यूब, और ट्विटर पर पीएम मोदी समर्थक कंटेंट को रोकने के लिए दबाव डाला था। इसके उदाहरण के तौर पर उन्होंने जनवरी 2019 में वॉट्सऐप की मैसेज फॉरवर्डिंग की सीमा को कम करने का जिक्र किया। यह कदम भी उनकी योजना का हिस्सा था, जिसके माध्यम से मोदी सरकार के समर्थकों को संदेश भेजने से रोका जा सकता था।
बांग्लादेश में भी हस्तक्षेप का आरोप
बेंज ने यह भी कहा कि अमेरिका ने बांग्लादेश में भी प्रधानमंत्री शेख हसीना की सरकार को अस्थिर करने के लिए हस्तक्षेप किया। उनका कहना है कि सांस्कृतिक तनावों का फायदा उठाकर विभाजन पैदा करने की कोशिश की गई और रैप संगीत के माध्यम से सरकार विरोधी भावनाओं को भड़काया गया।
अमेरिका की एजेंसी यूएसएड (USAID) पर सवाल
अमेरिका की यूएसएड (USAID) संस्था भी इस विवाद में घिरी हुई है। यह एक स्वतंत्र एजेंसी है जो विकासशील देशों में आर्थिक और मानवीय सहायता प्रदान करती है, लेकिन इस पर अक्सर आरोप लगाए जाते रहे हैं कि यह अमेरिकी विदेश नीति को लागू करने के लिए दखल देती है। माइक बेंज ने आरोप लगाया कि यूएसएड ने कई संस्थाओं को धन मुहैया कराकर भारतीय राजनीति में हस्तक्षेप किया और देश को विभाजित करने की कोशिश की।
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे का बयान
भारत में बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने भी इसी मुद्दे पर बयान दिया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि अमेरिकी संस्था यूएसएड ने भारत को विभाजित करने के लिए कई संस्थाओं को आर्थिक सहायता प्रदान की। माइक बेंज के आरोपों ने उनकी बातों को और भी मजबूती दी है।