Edited By ,Updated: 26 Feb, 2025 05:25 AM

भारत और पाकिस्तान के बीच हमेशा सकारात्मक सम्बन्धों के पक्षधर रहे पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री ‘नवाज शरीफ’, जो वर्तमान प्रधानमंत्री ‘शहबाज शरीफ’ के बड़े भाई हैं, ने 17 अक्तूबर, 2024 को भारत और पाकिस्तान के बीच सौहार्दपूर्ण संबंध बहाल करने की जरूरत...
भारत और पाकिस्तान के बीच हमेशा सकारात्मक सम्बन्धों के पक्षधर रहे पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री ‘नवाज शरीफ’, जो वर्तमान प्रधानमंत्री ‘शहबाज शरीफ’ के बड़े भाई हैं, ने 17 अक्तूबर, 2024 को भारत और पाकिस्तान के बीच सौहार्दपूर्ण संबंध बहाल करने की जरूरत पर बल देते हुए कहा था कि :
‘‘मैंने भारत के साथ रिश्ते सुधारने की कोशिश की परंतु मेरे प्रयासों को बार-बार तारपीडो किया गया। हम पड़ोसी हैं। हम अपने पड़ोसियों को नहीं बदल सकते...हमें अतीत का रोना छोड़ कर भविष्य की ओर देखना चाहिए। दोनों पक्षों के गिले-शिकवे हैं। हमें आपस में बैठ कर हर चीज पर गंभीरता से सोचना चाहिए।’’ परंतु पाकिस्तान के वर्तमान प्रधानमंत्री ‘शहबाज शरीफ’ का भारत के प्रति नजरिया अपने बड़े भाई ‘नवाज शरीफ’ से भिन्न ही लगता है। यह समय-समय पर दिए उनके भाषणों से स्पष्टï है और अक्सर भावनाओं में बह कर कही बातों से वह जगहंसाई का पात्र बन जाते हैं। उदाहरण स्वरूप :
* 5 फरवरी, 2025 को ‘पाक अधिकृत कश्मीर’ के ‘मुजफ्फराबाद’ में ‘शहबाज शरीफ’ ने भारत सरकार द्वारा 5 अगस्त, 2019 को कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाली धारा 370 रद्द करने को लेकर कहा,‘‘भारत को 5 अगस्त, 2019 की सोच से बाहर आकर संयुक्त राष्टï्र से किए वादों को पूरा करना और बातचीत शुरू करनी चाहिए। भारत हथियारों का जमावड़ा कर रहा है लेकिन इनसे न तो शांति आएगी और न यह कश्मीर के लोगों की किस्मत बदलने में मदद करेगा।’’
* 9 फरवरी को ‘शहबाज शरीफ’ ने दुबई में भारत और पाकिस्तान के बीच 23 फरवरी, 2025 को खेले गए ‘चैम्पियन्स ट्रॉफी’ मैच बारे कहा था कि ‘‘पाकिस्तान टीम का लक्ष्य ‘चैम्पियन्स ट्रॉफी’ जीतने से ज्यादा भारत को हराना है। इस मुकाबले के लिए पूरा पाकिस्तान ‘मो. रिजवान’ की टीम के साथ खड़ा रहेगा।’’
* और अब 22 फरवरी को ‘शहबाज शरीफ’ ने इतना बड़ा बयान दे दिया है कि उनके नाम पर ही खतरा मंडराने लगा है। ‘डेरा गाजी खान’ में आयोजित एक जनसभा में बोलते हुए उन्होंने हवा में मुट्ठी लहराते हुए दावा किया कि :
‘‘मैं अपने बड़े भाई और मुल्क के पूर्व प्रधानमंत्री ‘नवाज शरीफ’ का समर्थक और उनका अनुयायी हूं। मैं उनकी कसम खाता हूं कि अगर विकास तथा देश की अर्थव्यवस्था में हमारी कोशिशों की बदौलत पाकिस्तान ने भारत को पीछे न छोड़ दिया तो मेरा नाम ‘शहबाज शरीफ’ नहीं। हम एकजुट होकर काम करेंगे ताकि पाकिस्तान महान बने और भारत को हरा दे। मेरी सरकार ने महंगाई को 40 प्रतिशत से घटा कर 2 प्रतिशत कर दिया है।’’
यह कहने की जरूरत नहीं कि ‘शहबाज शरीफ’ के उक्त सभी बयान सच्चाई से कोसों दूर हैं। इसीलिए उनके नवीनतम भाषण के वीडियो के वायरल होते ही पाकिस्तान के लोग उनका खूब मजाक उड़ाने लगेे हैं :
* एक्स (सोशल मीडिया) पर एक यूजर ने लिखा,‘‘दवाई नहीं ली आज क्या? अपना ‘दिमागी तवाजन’ (मानसिक संतुलन) खो दिया है?’’
* दूसरे ने लिखा,‘‘चैम्पियन्स ट्रॉफी को छोडि़ए, शहबाज शरीफ को ‘मसखरों के ओलिम्पिक्स’ की मेजबानी करनी चाहिए। यह तुरंत हिट हो जाएगा।’’
* एक अन्य यूजर ने लिखा,‘‘हमें इनके लिए नया नाम ढूंढना होगा।’’ दूसरे देशों के नेताओं के साथ वार्ता में भी शहबाज शरीफ अनावश्यक मुद्दे उठाकर आलोचना का पात्र बनते रहे हैं। गत वर्ष नवम्बर में जब ‘बेलारूस’ के राष्ट्रपति ‘अलैग्जैंडर लुकाशेंको’ की पाकिस्तान यात्रा के दौरान शहबाज शरीफ ने कश्मीर का राग अलापना चाहा तो ‘अलैग्जैंडर लुकाशेंको’ ने उन्हें चुप कराते हुए फौरन कह दिया,‘‘कश्मीर की बात छोड़ो, काम की बात करो।’’
इस तरह की बातों से ‘शहबाज शरीफ’ अपने देशवासियों को बहला नहीं सकते। आज पाकिस्तान की हकीकत सबके सामने है। पूरा देश कमरतोड़ महंगाई, आर्थिक संकट और लाकानूनी की चपेट में है। अत: भारत के साथ सकारात्मक सम्बन्ध बहाल करने की जो बातें ‘बड़े भाई’ ‘नवाज शरीफ’ ने मीडिया में कही हैं, वही बातें उन्हें अपने ‘छोटे भाई’ (शहबाज शरीफ) को समझाने की जरूरत है क्योंकि अभी भी पाकिस्तान की ओर से भारत में हिंसा के लिए तबाही का सामान तथा आतंकवादियों को भेजना जारी है।—विजय कुमार