Edited By jyoti choudhary,Updated: 20 Mar, 2025 05:19 PM

केंद्र सरकार ने 4500 करोड़ रुपS की लागत से महाराष्ट्र में JNPA पोर्ट (पगोटे) से चौक (29.219 किमी) तक 6-लेन ग्रीनफील्ड हाई-स्पीड नेशनल हाईवे के निर्माण को मंजूरी दे दी है। बिल्ड, ऑपरेट और ट्रांसफर (BOT) मॉडल के तहत विकसित होने वाले इस हाईवे से...
नई दिल्लीः केंद्र सरकार ने 4500 करोड़ रुपS की लागत से महाराष्ट्र में JNPA पोर्ट (पगोटे) से चौक (29.219 किमी) तक 6-लेन ग्रीनफील्ड हाई-स्पीड नेशनल हाईवे के निर्माण को मंजूरी दे दी है। बिल्ड, ऑपरेट और ट्रांसफर (BOT) मॉडल के तहत विकसित होने वाले इस हाईवे से लॉजिस्टिक्स को मजबूती मिलेगी और बंदरगाह व हवाईअड्डे से कनेक्टिविटी बेहतर होगी।
प्रोजेक्ट की प्रमुख बातें:
- प्रोजेक्ट लागत: ₹4,500.62 करोड़
- हाईवे प्रकार: 6-लेन, एक्सेस-कंट्रोल्ड ग्रीनफील्ड हाई-स्पीड नेशनल हाईवे
- लंबाई: 29.219 किमी
- स्थान: JNPA पोर्ट (पगोटे) से चौक, महाराष्ट्र
- निर्माण मॉडल: BOT (बिल्ड, ऑपरेट और ट्रांसफर) मोड
क्यों जरूरी है यह हाईवे?
JNPA पोर्ट और नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट में लगातार बढ़ रहे कंटेनर ट्रैफिक को देखते हुए, इस हाईवे की जरूरत महसूस की गई। मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे और NH-48 (गोल्डन क्वाड्रिलेटरल) तक पहुंचने में फिलहाल 2-3 घंटे लगते हैं क्योंकि पालासपे फाटा, डी-प्वाइंट, कलांबोली जंक्शन और पनवेल जैसे शहरी इलाकों में भारी जाम रहता है। 2025 में नवी मुंबई एयरपोर्ट के शुरू होने के बाद यह ट्रैफिक और बढ़ने की संभावना है।
प्रोजेक्ट की खासियतें:
✔ मुंबई-पुणे हाईवे (NH-48), मुंबई-गोवा हाईवे (NH-66) से सीधा कनेक्शन मिलेगा।
✔ सह्याद्रि पहाड़ियों में दो टनल बनाई जाएंगी, जिससे भारी वाहनों को घाट सेक्शन पार करने में आसानी होगी।
✔ JNPA पोर्ट, नवी मुंबई एयरपोर्ट और औद्योगिक क्षेत्रों की लॉजिस्टिक्स दक्षता बढ़ेगी।
✔ बंदरगाह से माल ढुलाई तेज और सुरक्षित होगी, जिससे व्यापार और औद्योगिक विकास को बढ़ावा मिलेगा।
आर्थिक विकास को मिलेगी रफ्तार
इस हाईवे से मुंबई और पुणे के औद्योगिक क्षेत्रों में नई आर्थिक संभावनाएं खुलेंगी। साथ ही, यह परियोजना पीएम गति शक्ति योजना के तहत समेकित अवसंरचना (इंटीग्रेटेड इंफ्रास्ट्रक्चर) विकास को गति देने में मदद करेगी।