Edited By jyoti choudhary,Updated: 27 Aug, 2024 01:05 PM
दूरसंचार सेवा प्रदाताओं को उम्मीद है कि व्हाट्सएप, गूगल मीट और टेलीग्राम जैसे इंटरनेट कॉलिंग और मैसेजिंग ऐप नियमों का बाकी सभी सेवा प्रदाताओं की ही तरह पालन करेंगे। उद्योग निकाय सेल्युलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (COAI) ने सोमवार को कहा कि...
बिजनेस डेस्कः दूरसंचार सेवा प्रदाताओं को उम्मीद है कि व्हाट्सएप, गूगल मीट और टेलीग्राम जैसे इंटरनेट कॉलिंग और मैसेजिंग ऐप नियमों का बाकी सभी सेवा प्रदाताओं की ही तरह पालन करेंगे। उद्योग निकाय सेल्युलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (COAI) ने सोमवार को कहा कि ओवर-द-टॉप (ओटीटी) संचार ऐप को दूरसंचार अधिनियम, 2023 से बाहर करने की मांग करना भ्रामक है क्योंकि विभिन्न गैर-क्षेत्रीय नियमों के दूरसंचार कंपनियों पर भी लागू होने से वे अन्य नियमों के दायरे में आते हैं।
सीओएआई के सदस्यों में रिलायंस जियो, भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया शामिल हैं। सीओएआई के महानिदेशक एस पी कोचर ने कहा, ‘‘सीओएआई यह बताना चाहता है कि ‘देश की सुरक्षा' अत्यंत महत्वपूर्ण है और इस संबंध में, ओटीटी-आधारित संचार सेवाओं सहित सभी संचार सेवा प्रदाताओं को देश के अपेक्षित निर्देशों का पालन करना चाहिए, जैसा कि दूरसंचार सेवा प्रदाता करते हैं।''
उन्होंने कहा कि दूरसंचार कंपनियों ने वैध इंटरसेप्शन (कॉल को सुनने की कानूनी मंजूरी) और निगरानी के लिए बुनियादी ढांचे की स्थापना में भारी निवेश किया है। इसके बावजूद अनियमित अनुप्रयोग-आधारित संचार सेवाएं इस तंत्र को पूरी तरह से दरकिनार कर देती हैं, जो देश की सुरक्षा के लिए एक बड़ा खतरा है।
कोचर ने कहा, ‘‘मामला दूरसंचार अधिनियम, 2023 के तहत स्पष्ट रूप से कवर की गई संचार सेवाओं की नियामकीय निगरानी से संबंधित है। यह उजागर करना महत्वपूर्ण है कि टीएसपी, जो दूरसंचार अधिनियम द्वारा शासित हैं, संसद द्वारा निर्धारित उपरोक्त सभी कानूनों द्वारा विनियमित हैं।'' दूरसंचार कंपनियां मांग कर रही हैं कि सरकार को कॉलिंग और मैसेजिंग ऐप पर समान नियम लागू करके समान हालात पैदा करने चाहिए क्योंकि यह उनपर लागू है।