Edited By jyoti choudhary,Updated: 01 Jul, 2024 12:17 PM
भारत के विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन जून में तेज गति से बढ़ा है। अनुकूल मांग परिस्थितियों के बीच नए ठेके मिलने जारी रहे और इसके परिणामस्वरूप रोजगार में रिकॉर्ड वृद्धि हुई। सोमवार को जारी एक मासिक सर्वेक्षण में यह जानकारी दी गई। मौसमी रूप से समायोजित...
बिजनेस डेस्कः भारत के विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन जून में तेज गति से बढ़ा है। अनुकूल मांग परिस्थितियों के बीच नए ठेके मिलने जारी रहे और इसके परिणामस्वरूप रोजगार में रिकॉर्ड वृद्धि हुई। सोमवार को जारी एक मासिक सर्वेक्षण में यह जानकारी दी गई। मौसमी रूप से समायोजित 'एचएसबीसी इंडिया विनिर्माण क्रय प्रबंधक सूचकांक' (पीएमआई) जून में बढ़कर 58.3 हो गया जो मई में 57.5 था।
पीएमआई के तहत 50 से ऊपर सूचकांक होने का मतलब उत्पादन गतिविधियों में विस्तार है जबकि 50 से नीचे का आंकड़ा गिरावट को दर्शाता है। जून के आंकड़ों के अनुसार भारत में विनिर्माताओं की बिक्री में मजबूत वृद्धि मुख्य रूप से मजबूत अंतर्निहित मांग, उच्च निर्यात और सफल विज्ञापन के कारण हुई। नए ठेके मिलने में लगातार बढ़ोतरी के परिणामस्वरूप कंपनियों द्वारा भर्ती में तेजी आई। रोजगार सृजन की दर तेज हुई और मार्च 2005 में डेटा संग्रह शुरू होने के बाद से सबसे मजबूत रही।
एचएसबीसी की वैश्विक अर्थशास्त्री मैत्रेयी दास ने कहा, ‘‘... कंपनियों ने 19 वर्षों में सबसे तेज गति से अपनी नियुक्तियां बढ़ाईं। जून में कच्चे माल की खरीद भी बढ़ी।'' इस बीच, जून में नए निर्यात ठेकों में काफी वृद्धि हुई। कंपनियों ने विदेशों से नए काम के आने का श्रेय एशिया, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, यूरोप और अमेरिका से बेहतर मांग को दिया। एचएसबीसी इंडिया विनिर्माण पीएमआई को एसएंडपी ग्लोबल ने करीब 400 कंपनियों के एक समूह में क्रय प्रबंधकों को भेजे गए सवालों के जवाबों के आधार पर तैयार किया है।