Edited By jyoti choudhary,Updated: 09 Aug, 2024 01:42 PM
ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी का शेयर स्टॉक एक्सचेंज पर फ्लैट लिस्ट हुआ। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर कंपनी का शेयर इश्यू प्राइस ₹76 पर ही लिस्ट हुआ। वहीं, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) पर शेयर इश्यू प्राइस से 0.01% नीचे ₹75.99 पर लिस्ट हुआ। हालांकि, अब...
बिजनेस डेस्कः ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी का शेयर स्टॉक एक्सचेंज पर फ्लैट लिस्ट हुआ। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर कंपनी का शेयर इश्यू प्राइस ₹76 पर ही लिस्ट हुआ। वहीं, बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) पर शेयर इश्यू प्राइस से 0.01% नीचे ₹75.99 पर लिस्ट हुआ। हालांकि, अब NSE पर शेयर 20% की तेजी के साथ 91 के स्तर पर कारोबार कर रहा है।
टोटल 4.45 गुना सब्सक्राइब हुआ था IPO
यह IPO 2 अगस्त से 6 अगस्त तक निवेशकों के लिए ओपन था। तीन कारोबारी दिनों में यह IPO टोटल 4.45 गुना सब्सक्राइब हुआ था। रिटेल कैटेगरी में 4.05 गुना, क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (QIB) में 5.53 गुना और नॉन-इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स (NII) कैटगरी में 2.51 गुना सब्सक्राइब हुआ था।
ओला इलेक्ट्रिक IPO का साइज
ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी लिमिटेड का ये IPO टोटल ₹6,145.56 करोड़ का था। इसके लिए कंपनी ₹5,500 करोड़ के 723,684,210 फ्रेश शेयर इश्यू किए। जबकि, कंपनी के मौजूदा निवेशक ऑफर फॉर सेल यानी OFS के जरिए ₹645.56 करोड़ के 84,941,997 शेयर बेचे।
मैक्सिमम 2535 शेयर के लिए बिडिंग कर सकते थे रिटेल निवेशक
ओला इलेक्ट्रिक ने अपने IPO का प्राइस बैंड ₹72-₹76 तय किया था। रिटेल निवेशक मिनिमम एक लॉट यानी 195 शेयर्स के लिए बिडिंग कर सकते थे। यदि आप IPO के अपर प्राइज बैंड ₹76 के हिसाब से 1 लॉट के लिए अप्लाय करते, तो इसके लिए ₹14,820 इन्वेस्ट करने होते।
वहीं, मैक्सिमम 13 लॉट यानी 2535 शेयर्स के लिए रिटेल निवेशक अप्लाय कर सकते थे। इसके लिए निवेशकों को अपर प्राइज बैंड के हिसाब से ₹192,660 इन्वेस्ट करने होते।
2017 में ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी की हुई थी स्थापना
बेंगलुरु स्थित ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी की स्थापना 2017 में हुई थी। कंपनी मुख्य रूप से ओला फ्यूचर फैक्ट्री में इलेक्ट्रिक व्हीकल, बैटरी पैक, मोटर्स और व्हीकल फ्रेम बनाती है। 31 मार्च 2024 तक कंपनी में 959 एम्प्लॉई (907 स्थायी और 52 फ्रीलांसर) थे।
IPO क्या होता है?
जब कोई कंपनी पहली बार अपने शेयर्स को आम लोगों के लिए जारी करती है तो इसे इनीशियल पब्लिक ऑफरिंग यानी IPO कहते हैं। कंपनी को कारोबार बढ़ाने के लिए पैसे की जरूरत होती है। ऐसे में कंपनी बाजार से कर्ज लेने के बजाय कुछ शेयर पब्लिक को बेचकर या नए शेयर इश्यू करके पैसा जुटाती है। इसी के लिए कंपनी IPO लाती है।