Edited By jyoti choudhary,Updated: 14 Jan, 2025 11:44 AM
चालू वित्त वर्ष में देश के प्रत्यक्ष कर संग्रह (Direct Tax Collection) में शानदार बढ़ोतरी देखने को मिली है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) के आंकड़ों के मुताबिक, 12 जनवरी 2025 तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 15.88% बढ़कर लगभग 16.90 लाख करोड़ रुपए...
बिजनेस डेस्कः चालू वित्त वर्ष में देश के प्रत्यक्ष कर संग्रह (Direct Tax Collection) में शानदार बढ़ोतरी देखने को मिली है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) के आंकड़ों के मुताबिक, 12 जनवरी 2025 तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह 15.88% बढ़कर लगभग 16.90 लाख करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। इसमें व्यक्तिगत आयकर से जुड़ा गैर-कंपनी कर संग्रह 8.74 लाख करोड़ रुपए से अधिक रहा। इसके साथ ही, शुद्ध कॉरपोरेट कर संग्रह लगभग 7.68 लाख करोड़ रुपए और प्रतिभूति लेनदेन कर (STT) संग्रह 44,538 करोड़ रुपए दर्ज किया गया।
इस अवधि के दौरान 3.74 लाख करोड़ रुपए से अधिक के ‘रिफंड’ जारी किए गए। यह एक साल पहले इसी अवधि की तुलना में 42.49 प्रतिशत अधिक है। एक अप्रैल से 12 जनवरी के बीच सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह 20 प्रतिशत बढ़कर 20.64 लाख करोड़ रुपए से अधिक रहा है। सरकार ने चालू वित्त वर्ष में प्रत्यक्ष करों से 22.07 लाख करोड़ रुपए जुटाने का लक्ष्य रखा है। इसमें 10.20 लाख करोड़ रुपए का कॉरपोरेट कर संग्रह, 11.87 लाख करोड़ रुपए का व्यक्तिगत आयकर और अन्य कर शामिल हैं।
पर्सनल इनकम टैक्स
नॉन-कॉरपोरेट टैक्स में तेजी देखी गई है। इसमें पर्सनल इनकम टैक्स भी शामिल है। कुल संग्रह बढ़कर 10.45 लाख करोड़ रुपए रहा जो पिछले साल समान अवधि में 8.58 लाख करोड़ रुपए था। इस सेगमेंट में नेट कलेक्शन में 15.88 फीसदी तेजी के साथ 8.74 लाख करोड़ रुपए पहुंच गया जो पिछले साल 7.19 लाख करोड़ रुपए था। डायरेक्ट टैक्स में कॉरपोरेट टैक्स, पर्सनल इनकम टैक्स, सिक्योरिटीज ट्रांजैक्शन टैक्स, इक्विलाइजेशन लेवी, फ्रिंज बेनिफिट्स टैक्स, वेल्थ टैक्स, बैंकिंग कैश ट्रांजैक्शन टैक्स, होटल रिसीट टैक्स, इंटरेस्ट टैक्स, एक्सपेंडीचर टैक्स, एस्टेट ड्यूटी और गिफ्ट टैक्स आते हैं।