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राष्ट्रीय वित्तीय साक्षरता सप्ताहः सोशल मीडिया के युग में सुरक्षित निवेश के लिए एक गाइड

Edited By Diksha Raghuwanshi,Updated: 26 Feb, 2025 10:20 AM

national financial literacy week

सोशल मीडिया जानकारी का एक फायदेमंद स्रोत हो सकता है, लेकिन इसके संभावित खतरों के बारे में जागरूक होना भी जरूरी है।

चंडीगढ़। सोशल मीडिया हमारी रोज़मर्रा की ज़िंदगी में पूरी तरह से घुलमिल गया है और जानकारी का मुख्य स्रोत बन गया है, जिसमें वित्तीय सलाह और निवेश के लिए सुझाव भी शामिल हैं। इन प्लेटफार्म पर खुद को वित्तीय विशेषज्ञ बताने वाले लोगों के बढ़ने से, सोशल मीडिया के ज़रिए निवेश की सलाह लेने वाले लोगों की संख्या में भी इज़ाफा हुआ है। हालांकि जल्दी रिटर्न और आसानी से पैसे कमाने का लालच बहुत आकर्षक है, लेकिन सोशल मीडिया से मिलने वाली निवेश सलाह पर भरोसा करने से जुड़े खतरे को नजरअंदाज़ नहीं किया जा सकता। नीलेश डी नाइक, निवेश उत्पादों के प्रमुख, शेयर मार्केट (फोनपे वेल्थ) के अनुसार  राष्ट्रीय वित्तीय साक्षरता सप्ताह के मौके पर, यह ज़रूरी है कि हम सोशल मीडिया की भूमिका का मूल्यांकन करें, जो हमारे वित्तीय फैसलों पर असर डाल रही है। सोशल मीडिया जानकारी का एक फायदेमंद स्रोत हो सकता है, लेकिन इसके संभावित खतरों के बारे में जागरूक होना भी जरूरी है। 
सोशल मीडिया निवेश सलाह से जुड़े जोखिम
1.    योग्यता की कमी - कई सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर्स के पास औपचारिक वित्तीय शिक्षा नहीं होती, इसलिये उनकी सलाह अक्सर व्यक्तिगत राय पर आधारित होती है, न कि ठोस वित्तीय सिद्धांतों पर। निवेशकों को ऐसे अयोग्य विशेषज्ञों से सावधान रहना चाहिए।
2.    हितों का टकराव - – इन्फ्लुएंसर्स को कुछ खास निवेशों को प्रमोट करने के लिए पक्षपाती सलाह देने के बदले पैसे दिए जा सकते हैं। वे अपनी सलाह से खुद भी फायदा उठा सकते हैं, जिससे हित द्वंद्व हो सकता है। 
3.    झुंड मानसिकता - सोशल मीडिया "सभी जो कर रहे हैं, वही करो" की सोच पैदा कर सकता है, जिससे ट्रेंड बदलने पर स्पेक्युलेटिव बबल और नुकसान हो सकता है। 
4.    रेगुलेशन की कमी - सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर काफी हद तक रेगुलेटेड नहीं हैं, जो गलत सूचना या धोखाधड़ी के खिलाफ बहुत कम सुरक्षा प्रदान कर पाते हैं।
5.    जल्द मुनाफे पर ज्यादा ध्यान - जल्द मुनाफा कमाने पर ज्यादा ज़ोर देने से इन्फ्लुएंसर्स जोखिम उठाने को बढ़ावा देते हैं। निवेशकों को जल्दबाजी में की गई ट्रेंडिंग की बजाय लंबी अवधि की योजनाओं को अहमियत देनी चाहिए।
जोखिमों को कम करने के लिए सुझाव - खतरों के बावजूद निवेशक सोशल मीडिया पर निवेश सलाह मानने से जुड़े जोखिमों को कम करने के लिए कदम उठा सकते हैं:
क्रेडेंशियल्स वेरिफ़ाई करें
●    किसी भी फ़ाइनेंशियल इन्फ्लुएंसर को फ़ॉलो करने से पहले, उनके क्रेडेंशियल्स और ट्रैक रिकॉर्ड को वेरिफ़ाई कर लें
●    उनके निवेश के तरीके में पहले की सफलता और स्पष्टता के सबूत देखें।
●    ऐसे इन्फ्लुएंसर्स से सतर्क रहें जो बढ़ा-चढ़ा कर दावे करते हैं या बिना विश्वास करने योग्य सबूत के गारंटीड रिटर्न का वादा करते हैं।
●    विश्वसनीय इन्फ्लुएंसर्स के पास सही निवेश फैसले लेने और अपने फॉलोअर्स को फायदेमंद जानकारी देने का ठोस रिकॉर्ड होना चाहिए।
संदेह करें
●    सोशल मीडिया पर दी गई निवेश सलाह को पूरी सावधानी के साथ परखें।
●    याद रखें कि सभी इन्फ्लुएंसर्स आपके फायदे के लिए नहीं होते, इसलिए हमेशा उनकी सिफारिशों के पीछे के कारणों पर सवाल उठाएँ।
●    अपने खुद के विश्लेषण के बिना, बस दूसरों को देखकर या दोस्तों के दबाव में आकर निवेश करना बहुत खतरनाक हो सकता है।
●    अपने अनुभव पर भरोसा करें और सोशल मीडिया पर दी गई जानकारी की सच्चाई और विश्वसनीयता को ध्यान से जांचें।
किसी भी निवेश से पहले पूरी जानकारी हासिल करें
●    निवेश सलाह के लिए सिर्फ सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर्स पर भरोसा न करें
●    किसी भी निवेश से पहले अपना खुद का रिसर्च और जांच-पड़ताल करने के लिए समय दें।
●    इन्फ्लुएंसर्स द्वारा दी गई जानकारी को वेरिफ़ाई करें और सही वैलिडेशन के लिए अलग-अलग जगहों से जानकारी लें।
निष्कर्ष
हालांकि सोशल मीडिया बहुत सारी जानकारी देता है, लेकिन निवेश के फैसले करने के लिए केवल इस पर निर्भर करना जोखिम भरा हो सकता है। जल्दी पैसे कमाने का लालच संभावित नुकसान को नजरअंदाज कर सकता है। याद रखें, संपत्ति का निर्माण अच्छे वित्तीय सिद्धांतों पर निर्भर करता है, न कि जल्दबाजी में लिए गए सोशल मीडिया ट्रेंड्स पर।

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