Updated: 26 Aug, 2024 11:24 AM
दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (डीजेजेएस) ने 25 अगस्त को 29वां दो दिवसीय मेगा श्री कृष्ण जन्माष्टमी कार्यक्रम शुरू किया।
नई दिल्ली/टीम डिजिटल। दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (डीजेजेएस) ने 25 अगस्त को डीडीए ग्राउंड, सेक्टर 10, द्वारका, नई दिल्ली में अपना 29वां दो दिवसीय मेगा श्री कृष्ण जन्माष्टमी कार्यक्रम शुरू किया। इस कार्यक्रम की थीम थी- दर्शन इतिहास का, परिवर्तन आज का। कार्यक्रम डीजेजेएस के सैकड़ों वेद-पाठियों द्वारा वैदिक मंत्रों के उच्चारण के साथ शुरू हुआ। इस सामूहिक मंत्रोच्चार का उद्देश्य शांति, महिला सुरक्षा, धार्मिक एकता, सद्भाव और घोटाला-मुक्त समाज को बढ़ावा देना था।
डिजीटल गोवर्धन के माध्यम से पर्यावरण संरक्षण
डीजेजेएस की प्रवक्ता, साध्वी तपेश्वरी भारती ने कहा- कार्यक्रम की एक शानदार विशेषता रही- प्रदर्शनी क्षेत्र में डिजिटल सेंसर के साथ बनाया गया गोवर्धन का विशाल 3D मॉडल। उच्च-प्रोफ़ाइल राजनेताओं सहित हज़ारों आगंतुकों ने उत्साह और उमंग के साथ गोवर्धन के नीचे लाठियाँ लगाकर इस गतिविधि में भाग लिया। इस तकनीकी 3D गोवर्धन के आकर्षणों में एक फीचर यह भी था कि जैसे ही भक्त अपनी लाठियाँ लगाते, पर्वत पर लगी संकल्प/प्रतिज्ञा तख्तियाँ जगमगा उठतीं। जो कि प्रकृति संरक्षण हेतु उनकी प्रतिबद्धता का द्योतक थी।
आगंतुकों में आए श्री आशुतोष महाराज जी के एक शिष्य ने बताया –मैं हमेशा भगवान कृष्ण और उनकी लीलाओं से आकर्षित रहा हूँ। लेकिन जिस तरह से डीजेजेएस ने उनका प्रासंगिक ढंग से प्रस्तुतीकरण किया है और उन्हें आम जनता तक पहुंचाया है, वह सराहनीय है। प्रतिज्ञा लेते समय एक अन्य श्रद्धालु ने कहा, ‘अब तो कान्हा जी के नाम पर संकल्प लिया है, साल भर निभाएंगे!’
अद्भुत नृत्य नाटिकाएं व अन्य प्रस्तुतियां
इस जन्माष्टमी महोत्सव के पहले दिन 7 नृत्य नाटिकाओं का मंचन हुआ, जिसमें श्री कृष्ण के जीवन की प्रमुख घटनाओं को बेहद खूबसूरती से दर्शाया गया। कुछ प्रमुख प्रस्तुतियाँ थीं – संत मीराबाई जी का क्रांतिकारी जीवन, जिसमें महिला सशक्तिकरण के पहलू पर ज़ोर दिया गया; अनेक फन वाले कालिया नाग का वध; और, पौंड्रक की कहानी–नकली कृष्ण। साथ ही, श्री आशुतोष महाराज जी के संन्यासी शिष्यों द्वारा बिल्कुल प्रासंगिक और रोचक ढंग से सत्संग प्रवचन भी दिए गए। उन्होंने कृष्ण लीलाओं को तार्किक, वैज्ञानिक एवं आध्यात्मिक दृष्टिकोण से डिकोड किया। श्री कृष्ण के जीवन दर्शन के माध्यम से तनाव-मुक्त जीवन जीने का संदेश दिया।
साध्वी डॉ निधि भारती जी ने कहा, जब कोलकाता डॉक्टर केस जैसी घटनाओं से समाज शर्मसार होता है, तो नारी के लिए मीरा बाई जी जैसे संतों के क्रांतिकारी जीवन के बारे में जानना और भी महत्वपूर्ण हो जाता है। अन्य कई सामाजिक और नैतिक संदेश भी दिए गए।
डीजेजेएस के अध्यक्ष स्वामी आदित्यानंद जी ने बताया कि- 250 से अधिक कॉलेज के छात्रों और कॉरपोरेट कंपनियों में अच्छे स्तर पर कार्यरत नि:स्वार्थ कलाकारों ने इस कार्यक्रम में मंच पर परफॉर्मेंस दी। ये सभी दिव्य गुरु श्री आशुतोष महाराज जी (संस्थापक और संचालक, डीजेजेएस) के आत्मिक स्तर पर जागृत ब्रह्मज्ञानी शिष्य हैं। ये सभी प्रसिद्धि के लिए नहीं बल्कि सामाजिक जागृति व उत्थान के प्रति कटिबद्ध होकर अपनी सेवाएँ देते हैं। परफॉर्मेंस से पहले ये कलाकार पर्दे के पीछे ध्यान में बैठते हैं। इससे पूरा पंडाल आध्यात्मिक तरंगों से स्पंदित हो उठता है।
संगीत रचनाएँ
कार्यक्रम में दिए गए संगीत की परिकल्पना, गीत-लेखन और रचना पूरी तरह से डीजेजेएस के अपने प्रयास थे। डीजेजेएस अपने सभी संगीत वाद्ययंत्रों को 432 Hz पर ट्यून करता है, जो कि प्राचीन भारत के संगीत विज्ञान के अनुरूप है। यह न केवल प्रकृति के साथ, बल्कि नव-रस भावनाओं के साथ भी तालमेल बिठाता है। इससे ऐसा स्पंदन पैदा होता है जो श्रोताओं को मानसिक स्वास्थ्य भी देता है।
श्री आशुतोष महाराज जी के एक अन्य शिष्य ने कहा, मैं पिछले 18 साल से डीजेजेएस की जन्माष्टमी में आ रही हूं... क्योंकि यहां की संगीत रचनाएं, कृष्ण भजन बेहद मनोहारी होते हैं, जो मुझे बहुत से स्वास्थ्य लाभ भी देते हैं।
राजनीतिक अतिथिगण
कार्यक्रम में इनकी उपस्थिति रही : वीरेंद्र सचदेव (भाजपा अध्यक्ष, दिल्ली), विनोद तावड़े (भाजपा, राष्ट्रीय महासचिव), हर्ष मल्होत्रा (पूर्वी दिल्ली सांसद, कॉर्पोरेट मामलों के राज्य मंत्री), इंदर चंदोदिया ()/योगेंद्र चंदोलिया (भारतीय जनता पार्टी; सांसद, उत्तर पश्चिम दिल्ली)। प्रवीण खंडेवाल (सांसद, भाजपा/जनता पार्टी, चांदनी चौक, दिल्ली लोकसभा), कमलजीत सहरावत (पश्चिम दिल्ली से लोकसभा सदस्य), जितेंद्र सिंह शंटी (पद्मश्री पुरस्कार विजेता, शहीद भगत सिंह सेवा दल और शहीद-ए-आजम भगत सिंह फाउंडेशन के संस्थापक)।
कृष्ण लीलाओं के शानदार प्रदर्शन से ये सभी अभिभूत दिखे। कार्यक्रम के बाद इन्होंने डिजिटाइज्ड गोवर्धन मॉडल के नीचे अपनी लाठियां भी लगाईं । इन सभी ने श्री कृष्ण जन्माष्टमी महोत्सव पर दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान द्वारा पर्यावरण संरक्षण हेतु इस अद्भुत पहल की भरपूर प्रशंसा की।