Edited By Prachi Sharma,Updated: 15 Jun, 2024 01:36 PM
ज्येष्ठ माह में आने वाले सभी त्योहारों का विशेष महत्व है। इन्हीं में से एक है गंगा दशहरा बता दें कि ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि के दिन गंगा दशहरा मनाया जाता है। हिंदू धर्म में इस तिथि को बेहद ही शुभ माना जाता
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Ganga Dussehra: ज्येष्ठ माह में आने वाले सभी त्योहारों का विशेष महत्व है। इन्हीं में से एक है गंगा दशहरा बता दें कि ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि के दिन गंगा दशहरा मनाया जाता है। हिंदू धर्म में इस तिथि को बेहद ही शुभ माना जाता है। इस दिन हस्त नक्षत्र में देवी गंगा शिव जी की जटाओं से निकलकर धरती पर आई थीं। इस दिन गंगा स्नान करने से व्यक्ति के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। तो आज हम आपको बताएंगे साल 2024 में गंगा दशहरा की तिथि, शुभ मुहूर्त, इस दिन बनने वाले शुभ योग और पूजन विधि के बारे में-
हिंदू पंचांग के अनुसार, दशमी तिथि का प्रारंभ 16 जून को प्रातःकाल 02 बजकर 32 मिनट पर होगा और इसका समापन 17 जून को प्रातःकाल 04 बजकर 43 मिनट पर होगा। उदया तिथि के हिसाब से गंगा दशहरा 16 जून, दिन रविवार को मनाया जाएगा। इस दिन हस्त नक्षत्र 15 जून को सुबह 08 बजकर 14 मिनट पर शुरू होगा और अगले दिन सुबह 11 बजकर 13 मिनट पर समाप्त होगा। इसी के साथ आपको बता दें कि मान्यता है कि ब्रह्म मुहूर्त में गंगा नदी में स्नान करने से व्यक्ति को विशेष लाभ मिलता है, इसलिए इस दिन ब्रह्म मुहूर्त का समय जानना जरूरी है। ऐसे में बता दें कि गंगा दशहरा के दिन ब्रह्म मुहूर्त प्रातःकाल 04 बजकर 03 मिनट से सुबह 04 बजकर 43 तक रहेगा। इस दिन अभिजीत मुहूर्त सुबह 11 बजकर 54 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 50 मिनट तक रहेगा।
आगे आपको बताते चलें कि इस साल गंगा दशहरा पर सिद्धि योग, अमृत सिद्धि योग और रवि योग का निर्माण हो रहा है। इस दिन सर्वार्थ सिद्धि योग सुबह 05 बजकर 23 मिनट से लेकर 11 बजकर 13 मिनट तक रहेगा। अमृत सिद्धि योग भी सुबह 05 बजकर 23 मिनट से लेकर 11 बजकर 13 मिनट तक रहेगा और रवि योग प्रातः काल 05 बजकर 23 मिनट से शुरू होकर अगले दिन प्रातः काल 05 बजकर 23 मिनट तक रहेगा। धार्मिक मान्यता है कि इन योगों को पूजा-पाठ, व्रत-त्योहार के लिए सर्वोत्तम माना गया है। इस योग में पूजा-पाठ और गंगा स्नान करने से कई शुभ फल प्राप्त होते हैं और जीवन के कष्ट दूर होते हैं।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, गंगा दशहरा के दिन जो व्यक्ति गंगा नदी में स्नान करता है उसको जीवन में मानसिक और शारीरिक कष्ट नहीं झेलने पड़ते हैं।
पूजन विधि-
गंगा दशहरा पर ब्रह्म मुहूर्त में गंगा स्नान करें।
इसके बाद साफ वस्त्र धारण करके सूर्यदेव को अर्घ्य दें।
इस शुभ दिन पर मां गंगा के साथ-साथ भगवान शिव की भी पूजा करें।
इस दिन गंगा स्त्रोत का पाठ करने से व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति होती है।
पूजा के बाद आप अपनी श्रद्धा अनुसार जरूरतमंद लोगों को दान कर सकते हैं।