Edited By Niyati Bhandari,Updated: 18 Oct, 2023 07:06 AM
जिनकी ऊर्जा के अंश से पृथ्वी और ब्रह्मांड उत्पन्न हुए हैं, उस मां कूष्मांडा का पूजन नवरात्रि के चौथे दिन होता है। मां कूष्मांडा अत्यंत ऊर्जा प्रदान करने वाली देवी
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Navratri 2023 Day 4: जिनकी ऊर्जा के अंश से पृथ्वी और ब्रह्मांड उत्पन्न हुए हैं, उस मां कूष्मांडा का पूजन नवरात्रि के चौथे दिन होता है। मां कूष्मांडा अत्यंत ऊर्जा प्रदान करने वाली देवी हैं। सूर्य लोक में वास करने वाली ये एकमात्र देवी हैं। इनकी ऊर्जा क्षमता अद्वितीय है। माता का स्वरुप अष्ट भुजाओं वाला है इसलिए इन्हें अष्ट सिद्धि और नव निधियों की दाता भी कहा जाता है। इनका वास हमारे अनहद चक्र में होता है। सभी रोगों का नाश करने वाली माता का पूजन एवं ध्यान करने से असाध्य से असाध्य रोग दूर होते हैं। समाज में यश, मान और कीर्ती बढ़ती है। आईए जानते हैं माता को प्रसन्न करने के कुछ उपाय-
प्रातः उठकर सूर्य देव को जल देते हुए मां कूष्मांडा को ध्यान करें।
Maa kushmanda beej mantra पूर्व दिशा की ओर मुख करके देवी के चित्र के आगे फूल, धूप-दीप, नैवेद्य, अक्षत और गुड़ से बनी मिठाई अर्पित करते हुए माता के बीज मंत्र का जाप करें- ऐं ह्री देव्यै नम:
इस मंत्र का उच्चारण करते हुए माता के आगे लंबी आयु और स्वास्थ्य की कामना करें।
पूर्व दिशा की ओर लाल पुष्प वाला पौधा लगाने से आपका समाज में यश-मान बढ़ता है। सूर्य समान आपका नाम चमकता है।
आज के दिन मां कूष्मांडा को कुहड़ चढ़ाने से सरकारी कामों में सफलता मिलेगी, रोगों का नाश होगा और हर प्रकार की ऋद्धियां और सिद्धियों प्राप्त होंगी।
कलश के नीचे लाल कपड़ा बिछाकर उसके ऊपर लाल फूल चढ़ाने से रक्त संबंधी विकार दूर होते हैं।
केसर अर्पित करने से मां कूष्मांडा बहुत प्रसन्न होती हैं, जिससे कई प्रकार के पुण्यों की प्राप्ति होती है।
मां अन्नपूर्णा के इस स्वरूप को कुम्हड़ा की बली बहुत प्रिय है। ऐसा करने से आपको शत्रुओं पर विजय भी प्राप्त होती है।