Edited By Jyoti,Updated: 30 Jul, 2019 01:13 PM
Shiv Mantra : दया निधान महेश्वर भोलेनाथ सावन में अपने सब भक्तों पर अपनी दया बरसाते हैं। इसी के चलते समस्त शिव भक्त ही श्रावण में विश्वेश्वर महादेव का ध्यान करते हैं व इनका गुणगान करते हैं। शास्त्रों में शिव जी के बारे में वर्णन किया गया है ....
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Shiv Mantra : दया निधान महेश्वर भोलेनाथ सावन में अपने सब भक्तों पर अपनी दया बरसाते हैं। इसी के चलते समस्त शिव भक्त ही श्रावण में विश्वेश्वर महादेव का ध्यान करते हैं व इनका गुणगान करते हैं। शास्त्रों में शिव जी के बारे में वर्णन किया गया है कि संपूर्ण जग के दाता देवों के देव महादेव ही हैं, समस्त पृथ्वी लोक के भाग्य विधाता भी यही हैं। कहने का भाव है यही इस पूरे जगत के सृजनधारी हैं सारे खेल इन्हीं के रचे हुए हैं।
शास्त्रों में ब्रह्मा, विष्णु, महेश के बारे में उल्लेख किया गया है। जिसमें महेश यानि भगवान शंकर हैं। ग्रंथों में महेश का मतलब मोक्ष बताया है यानि महादेव वे देव हैं जो भक्तों को जन्म और मरण के बंधन से मुक्ति दिलाती हैं। आज हम आपको इन्हीं भोले भंडारी के कुछ ऐसे मंत्रों के बारे में बताने जा रहे हैं जिनका अगर आप ने श्रावण के माह में आप ने जाप कर लिया तो आपकी हर तरह की समस्या का अंत हो जाएगा।
ज्योतिष शास्त्र में कुछ ऐसे शिव मंत्र बताए गए हैं जिनके उच्चारण से हमारे जीवन की कई बाधाएं व बीमारियों का खात्मा हो सकता है। साथ ही इन मंत्रों का रोज़ाना जाप करने वाले जातक के अंदर से हर तरह की नकारात्मक ऊर्जा का नाश हो जाता है और वह जीवन के जन्म और मृत्यु के चक्कर से हमेशा हमेशा के लिए छूट जाता है। तो चलिए जानतें हैं ये मंत्र-
सबसे पहला जो मंत्र हम आपको बताने वाले हैं उसके बारे में पता हो सब को होगा लेकिन इस मंत्र में कितनी ताकत है ये किसी को नहीं पता होगा।
“ॐ नम: शिवाय”
इस मंत्र के बारे में सब जानते हैं लेकिन बहुत कम लोग जानते होंगे कि कुछ ज्योतिष मान्यताओं के अनुसार इस मंत्र को सही नहीं माना जाता है।
शिव मंत्र (Shiv Mantra)
नम: शिवाय
ज्योतिष विद्वानों के अनुसार ये भगवान शंकर का पंचक्षारी मंत्र है। अगर हम इसके साथ “ॐ ” लगाते हैं तो पांच अक्षर का न होकर छे का हो जाता है। इसलिए कहा जाता इस मंत्र का जाप हमेशा नमः शिवाय बोलकर ही करना चाहिए। बता दें इसका अर्थ है कि हम अपना मस्तक झुकाते हुए और उन्हें प्रणाम करते हैं। कहा जाता है रोज़ाना इस का 108 बार जाप करने से आत्मा शुद्ध होती है।
महादेव मंत्र (Mahadev Mantra)
ॐ नमोः भगवते रुद्राय
ज्योतिष मान्यताओं के अनुसार इस मंत्र का उच्चारण अपनी इच्छाओं के पूरा करने के लिए किया जाता है।
रूद्र गायत्री मंत्र (Rudra Gayatri Mantra)
ॐ तत्पुरुषाय विद्महे महादेवाय धीमहि तन्नो
वैसे तो हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार गायत्री मंत्र को सबसे शक्तिशाली माना जाता है। परंतु बता दें रूद्र गायत्री मंत्र को भी इतना ही शक्तिशाली माना जाता है। कहा जाता है यह एक मंत्र कुल 11 मंत्र का संग्रह माना जाता है, जो भगवान शिव के विभिन्न रूपों की पूजा करने के लिए इस्तेमाल किए जाते हैं। तो अगर इस श्रावण आप इन मंत्रों का उच्चारण करते हैं तो आप भोलेनाथ की कृपा के भागी ज़रूर बनेंगे।