Edited By Prachi Sharma,Updated: 27 Feb, 2024 07:17 AM
पंचांग के अनुसार हर साल फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि के दिन यशोदा जयंती का व्रत रखा जाता है। इस दिन ममता की मूरत मां यशोदा का
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Yashoda Jayanti 2024: पंचांग के अनुसार हर साल फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि के दिन यशोदा जयंती का व्रत रखा जाता है। इस दिन ममता की मूरत मां यशोदा का जन्मोत्सव मनाया जाता है। श्री कृष्ण का जन्म चाहे माता देवकी के गर्भ से हुआ था लेकिन दुनिया की नजर में मां यशोदा को कान्हा की मैया कहा जाता है। गुजरात, महाराष्ट्र और दक्षिण भारत में इस पर्व को खासतौर पर मनाया जाता है। इस माताएं संतान की उम्र और संतान प्राप्ति के लिए इस व्रत को रखती हैं। मां यशोदा के साथ-साथ इस दिन श्री कृष्ण की भी पूजा की जाती है। तो चलिए सबसे पहले जानते हैं कब रखा जाएगा ये व्रत।
Yashoda Jayanti यशोदा जयंती 2024 ?
पंचांग के अनुसार साल 2024 में यशोदा जयंती का पर्व 1 मार्च, 2024 शुक्रवार के दिन मनाया जाएगा।
Benefits of Yashoda Jayanti Puja यशोदा जयंती पूजा के लाभ
शास्त्रों के अनुसार जो भी महिला संतान प्राप्ति की चाह में है, उस इच्छा को पूरा करने के लिए उसे इस व्रत को अवश्य करना चाहिए। इस व्रत को संतान की कामना पूर्ण हो जाती है और घर-परिवार में ख़ुशी का माहौल रहता है। धन-धान्य की प्राप्ति और श्री कृष्ण की कृपा प्राप्त करने के लिए ये व्रत करना चाहिए। वैष्णव परंपरा के लोग पूरे उत्साह के साथ मनाते हैं. मान्यता है कि इस व्रत के प्रभाव से संतान में श्रीकृष्ण के गुण आते है।
Yashoda Jayanti Puja Method यशोदा जयंती पूजा विधि
यशोदा जयंती के दिन श्री कृष्ण को गोद में लिए हुए माता यशोदा की तस्वीर की पूजा करने का विधान है।
इस दिन सबसे पहले एक चौंकी पर लाल कपड़े बिछाएं और श्री कृष्ण और माता की तस्वीर को स्थापित कर दें। अगर इस तरह की तस्वीर नहीं है तो सिर्फ कान्हा ही की ही फोटो लगा लें।
इसके मां की तस्वीर के सामने दीपक जला कर, मां को लाल चुनरी ओढ़ाएं और रोली, कुमकुम, फूल, तुलसी, धूप, दीप से पूजा करें।
गोपाल मंत्र की एक माला जाप करें।
इसके बाद उन्हें मक्खन-मिश्री का भोग लगाकर आरती करें।