Updated: 06 Jun, 2024 05:00 PM
यहां पढ़ें कैसी है फिल्म फूली
फिल्म : फूली ( Phooli)
निर्देशक: अविनाश ध्यानी (Avinash Dhyani)
कलाकार : अविनाश ध्यानी (Avinash Dhyani), रिया बलूनी (Riya Baluni), सुरुचि सकलानी (Suruchi Saklani), प्रिंस जुयाल (Prince Juyal), ऋषि राज भट्ट (Rishi Raj Bhatt)
रेटिंग : 3.5*
Phooli: जब हम कोई सपना देखते हैं तो उसे पूरा करने के लिए हर सभंव कोशिश करते हैं लेकिन कई बार परिस्थितियां हमारा साथ नहीं देती हैं। ऐसे में कोई सहारा या कोई छोटी उम्मीद भी हमारे सपनों को साकार करने में हमारी मदद करती है। ऐसी ही एक प्रेरणादायक, हौसला और जज़्बा बढ़ाने वाली फ़िल्म 'फूली' हैं। रियल स्टोरी से इन्सपायर्ड निर्देशक अविनाश ध्यानी की फिल्म 'फूली' एक बच्ची और जादूगर की बेहद प्यारी सी कहानी है। यह कहानी आपके दिल को छू जाएगी।
कहानी
फिल्म की कहानी एक यह लड़की फूली (रिया बलूनी) के इर्द-गिर्द घूमती है जो पढ़ना चाहती है उसके कुछ सपने हैं जिन्हें वह पूरा करना चाहती है फूली का पढ़ने में खूब मन लगता है वह रोज स्कूल जाती है और मन लगाकर पढ़ती है। लेकिन उसके हालात उसके सपनों के आड़े आ जाते हैं। उसके पिता एक शराबी इंसान है जो उससे खेतों में काम कराता है और उन पैसों से शराब पीकर फूली को मारता-पीटता भी है इसके साथ ही उसकी पढ़ाई छुड़वाने की धमकी भी देता है। फूली की जिंदगी मोड़ तब आता है जब एक जादूगर (अविनाश ध्यानी) उसके जीवन में आता है और उसे उसकी परिस्थितियों से उबरने में मदद करता है और पढ़ाई करने के लिए प्रेरित करता है। अब जादूगर फूली की जिंदगी को कैसे बदलता और क्या फूली अपने सपनों को पूरा कर पाएगी। यह जानने के लिए आपको फिल्म देखनी होगी।
एक्टिंग
फिल्म में सभी कालकारों ने अपने किरदारों को बहुत सजीवता ने निभाया है कहीं भी अतिश्योक्ति नजर नहीं आती है। अविनाश ध्यानी जिन्होंने महेंद्र सरकार का रोल किया है जो एक मशहूर जादूगर है। जादूगर के रुप में एक्टर खूब जंचे हैं। एक्टिंग, डायलॉग से अविनाश ने प्रभावित किया है। वहीं रिया बलूनी ने फूली के किरदार को बखूबी जिया है। उन्होंने इस किरदार में खुद को पूरी तरह ढ़ाल लिया है इसके साथ ही सुरुचि सकलानी ने बड़ी फूली के रूप में अच्छा अभिनय किया है।
निर्देशन
फिल्म के निर्देशन की बात करें तो सवाल फिल्म में एक छोटी लड़की जो मुश्किल हालातों से उसे बड़ी सजीवता के साथ दिखाया है। फिल्म देखने पर आपको पहाड़ो के जीवन को काफी निकटता से जानेंगे क्योंकी निर्देशक ने पहाड़ी गांव और उसके जीवन को बखूबी दर्शाया है। पृष्ठभूमि में यह असरदार सिनेमा बनाया है। कहानी में शिक्षा और सफलता को लेकर बेहद खास संदेश देने का प्रयास किया गया है। साथ ही फिल्म काफी सिपंल है लेकिन फिर भी आपको बोरियत का एहसास नहीं होने देगी।