Updated: 17 May, 2024 09:52 AM
श्रेयस तलपड़े की मोस्ट अवेटेड साइकोलॉजिकल थ्रिलर फिल्म 'कर्तम भुगतम' 17 मई को सिनेमाघरों में रिलीज हो गई है। पढ़िए फिल्म कैसी है...
फिल्म: कर्तम भुगतम (Kartam Bhugtam)
निर्देशक : सोहम पी. शाह (Soham P. Shah)
कलाकार : विजय राज (Vijay Raaz) , श्रेयस तलपड़े (Shreyas Talpade) , मधु (Madhoo)
रेटिंग : 4
Kartam Bhugtam: 'जो किया है वो कर्म था, जो कर रहा है वो धरम और जो होगा वो 'कर्तम भुगतम' और जब इंसान का खुद पर से भरोसा उठ जाता है तब वो एक ज्योतिष का सहारा लेता है'-ये डायलॉग साइकोलॉजिकल थ्रिलर 'कर्तम भुगतम' फिल्म की कहानी बयां करते हैं , जो 17 मई को सिनेमाघरों में रिलीज हो गई है। हम इस दुनिया में रहकर जो अच्छे या बुरे कर्म करते हैं उनका परिणाम हमें इसी जीवन में ही भुगतना पड़ता है और जो होना है वो होकर रहेगा। 'कर्तम भुगतम' की कहानी भी इसी विषय पर आधारित है जिसमें ज्योतिष और कर्म साथ-साथ चलते हैं।
यह फिल्म 'काल' और 'लक' जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्मों के निर्देशक सोहम पी. शाह की रचना है जिसे उन्होंने पर्दे पर सजीव किया है। फिल्म का टाइटल किसी साउथ इंडियन मूवी के टाइटल की तरह लग सकता है पर इसके पीछे की दिलचसप कहानी के बारे में खुलासा करते हुए सोहम पी. शाह ने बताया कि उनका एक दोस्त अक्सर कर्तम भुगतम का उच्चारण करता रहता था और उनके इस शब्द से प्रेरित होकर उन्होंने इस टाइटल पर फिल्म बनाने का फैसला किया। यह फिल्म देशभर में हिंदी , तमिल , तेलुगु , कन्नड़ और मलयालम भाषाओं में रीलीज हो रही है।
कहानी
श्रेयस तलपड़े अपना स्टार्टअप शुरू करना चाहता है, जिसके लिए वो अपनी पुश्तैनी सम्पति और एफडी आदि बेचकर जल्द से जल्द पैसे हासिल करना चाहता है , पर उसके रास्ते में एक के बाद एक कई रुकावटें आने लगती हैं जिससे उसके मंसूबे धरे के धरे रह जाते हैं और वो मायूस होकर ज्योतिष विजय राज की शरण में चला जाता है। अब क्या विजय राज द्वारा बताए उपायों पर चलकर श्रेयस तलपड़े इन मुसीबतों से छुटकारा पर कर पाएंगे? या श्रेयश किसी अन्य मुसीबत में फंस जाएंगे । यह सब आपको फिल्म देखने पर पता चलेगा।
एक्टिंग
फिल्म की कहानी के हिसाब से हर कलाकार चुन चुन कर लिया गया है। श्रेयस तलपड़े ने शानदार एक्टिंग की है । वे कलाकार होने के साथ साथ एक शानदार निर्देशक भी हैं । उन्होंने अपना सौ फ़ीसदी दिया है और फिल्म के निर्देशक को कहीं भी मायूस नहीं किया है। फिल्म के निर्देशक सोहम ने एक चैनल को दिए इंटरव्यू में बताया था कि श्रेयस तलपड़े ने फिल्म के सीन्स को लेकर कुछ बेहतरीन सुझाव भी दिए थे, जिनका इस्तेमाल फिल्म में किया गया। फिल्म में विजय राज ने ज्योतिष का किरदार निभाया है और अपने एक्सप्रेशंस से उन्होंने फिल्म में कमाल का अभिनय किया है । उनके किरदार ने रोमांच को चरम पर पहुंचाया जिसकी वजह से फिल्म अंत तक सीट पर बंधे रहने पर मजबूर कर देती है। उनकी भारी और ठहराव भरी आवाज़ में डायलाग काफी असरदार हैं। विजय राज एक अनुभवी कलाकार हैं जो हर जॉनर में अपना बेहतरीन देते हैं, और यह हम उनकी पिछली फिल्मों - वेब्सीरीज में देख चुके हैं। फिल्म में अनुभवी अभिनेत्री मधु ने भी शानदार एक्टिंग की है।
डायरेक्शन
फिल्म की कहानी ,स्क्रीनप्ले और निर्देशन तक का सारा जिम्मा सोहम पी. शाह ने उठाया है , और वे पूरी तरह सफल हुए हैं। कलाकारों का चयन , एडिटिंग, डायलॉग, म्यूजिक आदि तकनीकी पक्षों पर उनकी पकड़ शानदार है। अपने हर कलाकार से उन्होंने बेहतरीन काम लिया है और स्वयं भी इस कसौटी पर खरे उतरे हैं। जो कहानी उनके जेहन में थी उसको ज्यों का त्यों पर्दे पर पेश किया है। थ्रिल पर भी ऐसा काम किया है कि दर्शक सीट छोड़ कर कहीं भी न जाये।
म्यूजिक
साइकोलॉजिकल थ्रिलर होने के कारण फिल्म का बैकग्राउंड म्यूजिक भी कहानी के साथ काफी असरदार है। फिल्म का संगीत शाबिर अहमद ने दिया है जो हताशा, निराशा, थ्रिल, ड्रामा आदि भावों को बखूबी पहचानते हैं और मूड के हिसाब से संगीत दिया है। कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि एक अच्छी कहानी और शानदार कलाकारों वाली यह फिल्म उन लोगों के लिए किसी ट्रीट से कम नहीं जो एक अच्छी कहानी और थ्रिल से भरी पारिवारिक फिल्म देखने के इच्छुक हैं।