SCO में शाामिल सभी सदस्य देशों ने किया पहला संयुक्त आतंकवाद विरोधी अभ्यास

Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 25 Jul, 2024 11:53 AM

all the member countries included in sco conducted the first joint

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के सदस्य देशों के सुरक्षा अधिकारियों ने चीन में पहले संयुक्त आतंकवाद-रोधी अभ्यास में हिस्सा लिया, जिसमें “आतंकवादी समूहों के उन्मूलन” जैसे विशेष अभियानों पर ध्यान केंद्रित किया गया...

बीजिंग: शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के सदस्य देशों के सुरक्षा अधिकारियों ने चीन में पहले संयुक्त आतंकवाद-रोधी अभ्यास में हिस्सा लिया, जिसमें “आतंकवादी समूहों के उन्मूलन” जैसे विशेष अभियानों पर ध्यान केंद्रित किया गया। चीन के जन सूचना मंत्रालय ने कहा कि उत्तर-पश्चिमी चीन के झिंजियांग उइगर स्वायत्त क्षेत्र में हाल में आतंकवाद विरोधी संयुक्त अभ्यास ‘इंटरैक्शन-2024' आयोजित किया गया। सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ' ने मंगलवार को खबर दी कि यह अभ्यास पहली बार आयोजित किया गया और इसमें एससीओ के सभी सदस्य देशों की संबंधित एजेंसियों ने हिस्सा लिया। इस अभ्यास में भारत के एक छोटे प्रतिनिधिमंडल ने भी भाग लिया। 

‘ग्लोबल टाइम्स' की खबर के मुताबिक, आतंकवादी खतरे अक्सर दूसरे देशों तक पहुंच जाते हैं और दुनिया इससे अछूती नहीं है, इसलिए आतंकवाद विरोधी अभियानों में सदस्य देशों की क्षमताओं और अंतर-संचालन क्षमता को बढ़ाने के लिए एससीओ संयुक्त अभ्यास का बड़े पैमाने पर आयोजन किया गया। जन सुरक्षा मंत्रालय ने कहा कि संबंधित एजेंसियों द्वारा संयुक्त अभ्यास के लिए एक नया मॉडल स्थापित किया गया है और इसने एससीओ सदस्य देशों के अधिकारियों की संयुक्त परिचालन क्षमताओं को बढ़ाया। मंत्रालय ने कहा कि आतंकवाद के अहम खतरों के मद्देनजर, अभ्यास में “आतंकवादी समूहों के उन्मूलन” जैसे विशेष अभियान शामिल थे। सरकारी मीडिया द्वारा जारी तस्वीरों में दिख रहा है कि सैनिक और पुलिस अधिकारी असॉल्ट राइफल, पिस्तौल और दंगारोधी उपकरणों से लैस हैं। इस दौरान बख्तरबंद और अन्य वाहन, हेलीकॉप्टर, ड्रोन और रोबोट कुत्तों को भी अभ्यास में तैनात किया गया था।

एससीओ सदस्य देशों, एससीओ सचिवालय और एससीओ क्षेत्रीय आतंकवाद विरोधी संरचना की कार्यकारी समिति के प्रतिनिधियों ने अभ्यास का अवलोकन किया। इस महीने की शुरुआत में बेलारूस आधिकारिक रूप से एससीओ का 10वां सदस्य देश बन गया, जिसमें पहले से ही चीन, भारत, ईरान, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, पाकिस्तान, रूस, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान शामिल हैं। एससीओ सदस्य देशों का आतंकवाद-रोधी प्रयासों में प्रभावी सहयोग का लंबा इतिहास रहा है। चीन समकालीन अंतरराष्ट्रीय संबंध संस्थान से जुड़े रक्षा विशेषज्ञ ली वीई ने ‘ग्लोबल टाइम्स' से कहा कि इससे पहले आयोजित सभी आतंकवाद विरोधी अभ्यास द्विपक्षीय या बहुपक्षीय थे, लेकिन उनमें एससीओ के सभी सदस्य देश शामिल नहीं थे। ली ने कहा कि इस अभ्यास से यह प्रतिबिंबित होता है कि एससीओ के सभी सदस्य देश आतंकवाद से उत्पन्न खतरों के प्रति एक समान समझ रखते हैं। 

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