सर्वेः PM सुनक को अवैध प्रवासी और सैन्य सेवा के फैसले से हुआ फायदा, लोकप्रियता तेजी से बढ़ी

Edited By Tanuja,Updated: 30 May, 2024 02:17 PM

british pm sunak popularity increased rapidly again

ब्रिटेन में भारतवंशी पीएम ऋषि सुनक ने पहले समय पूर्व चुनावों की घोषणा करके सबको चौका दिया। हाल में हुए एक चुनावी सर्वे में सामने आया है कि 4 जुलाई को चुनाव कराने के उनके फैसले के बाद ...

लंदनः ब्रिटेन में भारतवंशी पीएम ऋषि सुनक ने पहले समय पूर्व चुनावों की घोषणा करके सबको चौका दिया। हाल में हुए एक चुनावी सर्वे में सामने आया है कि 4 जुलाई को चुनाव कराने के उनके फैसले के बाद पीएम सुनक और उनकी कंजरवेटिव पार्टी की लोकप्रियता तेजी से बढ़ी है।  सुनक की पार्टी की स्थिति में सुधार के पीछे हाल में लिए गए उनके कई फैसलों का महत्वपूर्ण योगदान है। मई के शुरू में 33% कंजरवेटिव वोटर्स ने कहा था कि वे नीगेल फराज की रिफॉर्म यूके पार्टी को वोट देने का विचार कर रहे हैं, उनकी संख्या 10 अंक घटकर 23% आ गई है। सुनक के कई वोटर वापस आ रहे हैं।

 

इसके अलावा  65 साल बाद पीएम सुनक ने ब्रिटेन में सैन्य सेवा को अनिवार्य करने का वादा किया है। उन्होंने कहा कि अगर कंजर्वेटिव पार्टी सत्ता में आती है तो वे 18 साल के सभी युवाओं के लिए 12 महीने की नेशनल आर्मी सर्विस को अनिवार्य कर देंगे। भले ही विपक्ष इसे नाटक कह रहा है लेकिन इस निर्णय से युवा कंजर्वेटिव वोटर खुश है।जेएल पार्टनर के सर्वे के मुताबिक नेता कीर स्टारमर के नेतृत्व वाले प्रमुख विपक्षी दल लेबर पार्टी को 40% और कंजरवेटिव पार्टी को 28% लोगों ने अपनी पसंद बताया है। इनके बीच की अंतर घटकर 12 अंक ही रह गया है जो चुनाव घोषित होने के पहले 18% से ज्यादा था। 

 

इस सर्वे में कहा गया है कि सुनक आक्रामक प्रचार कर रहे हैं और हालात बदलने लगे हैं। रवांडा नीति के अलावा ग्रेजुएशन वीसा और शरणार्थियों वीसा में कटौती जैसे पीएम सुनक के फैसलों से उनकी पार्टी के जो वोटर दूर हो गए थे, वे वापस आ रहे हैं। सर्वे करने वालों ने कहा है, कि इस बदलाव के पीछे 65 साल से ज्यादा उम्र के लोंगों की राय में बदलाव प्रमुख है। इस आयु वर्ग में कंजरवेटिव पार्टी की 10 अंकों की बढ़त बढ़कर 20 अंकों में पहुंच गई है।  हाल में, लेबर पार्टी की 70 वर्षीय नेता डायने एबॉट ने आरोप लगाया कि पार्टी ने उनको चुनाव लड़ने से रोका है। कई लेबर नेताओं ने इस फैसले पर नाराजगी जताई है।

 

उनका कहना है कि एक वरिष्ठ सांसद के साथ यह व्यवहार उचित नहीं है। विवाद इतना बढ़ा है कि स्टारमर को सफाई देनी पड़ी कि डायने पर प्रतिबंध लगाने पर अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है। इस सर्वे के सामने आने के बाद सुनक की पार्टी के समर्थक बेहद उत्साह में हैं। उनका कहना है कि चुनावों की प्रचार के रफ्तार पकड़ने के साथ-साथ अभी पार्टी के प्रदर्शन में और सुधार होगा। कंजरवेटिव पार्टी के लोगों का कहना है कि आने वाले दिनों में कीर स्टारमर की लेबर पार्टी और उनकी पार्टी के बीच का अंतर बेहद कम रहने वाला है। हालांकि चिंता की बात यह है कि हर 10 में से 6 (करीब 60%) लोगों ने कहा है कि वे इस बार सरकार बदलने का विचार कर रहे हैं। वहीं, सबसे अच्छे प्रधानमंत्री के सवाल पर लेबर नेता कीर स्टारमर 12% आगे चल रहे हैं।

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