Edited By Tanuja,Updated: 08 Aug, 2024 05:30 PM
पिछले दिनों इजराइल द्वारा तेहरान में हमास चीफ इस्माल हनिया की हत्या के बाद ईरान सुर्खियों में। एक तरफ दुनिया जहां बांग्लादेश संकट पर नजरें गाढ़े बैठी है वहीं ...
International Desk: पिछले दिनों इजराइल द्वारा तेहरान में हमास चीफ इस्माल हनिया की हत्या के बाद ईरान सुर्खियों में। एक तरफ दुनिया जहां बांग्लादेश संकट पर नजरें गाढ़े बैठी है वहीं अब ईरान से एक और चौंकाने वाली रिपोर्ट सामने आई है।दरअसल, ईरान ने एक ही दिन में 29 लोगों को फांसी की सजादेकर पूरी दुनिया को हैरान कर दिया है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार बुधवार को ईरान की राजधानी तेहरान की जेल में 26 लोगों को और अन्य 3 लोगों को करज शहर की जेल में फांसी दी गई। AFP की रिपोर्ट के अनुसार, जिन 29 लोगों को फांसी की सजा दी गई, उनमें 2 अफगानिस्तान के नागरिक भी हैं। फांसी पाने वाले लोग हत्या, नशीले पदार्थों की तस्करी और रेप के आरोपी थे। रिपोर्ट के अनुसार नॉर्वे की ह्यूमन राइट्स एक्टिविस्ट्स न्यूज एजेंसी और सेंटर फॉर ह्यूमन राइट्स इन ईरान के हवाले से फांसी की सजा देने की पुष्टि की है।
हालांकि, कुछ लोगों का ये भी कहना है कि ईरान पर 2022 के विरोध प्रदर्शनों में शामिल लोगों को मौत की सजा दे रहा है, ताकि लोगों में डर पैदा हो सके। इन 29 लोगों की फांसी, ईरान में न्यायिक प्रक्रिया और मानवाधिकारों के उल्लंघन के बारे में वैश्विक बहस को फिर से शुरू कर दिया है। कई मानवाधिकार संगठनों का दावा है कि ईरान में न्यायिक प्रक्रिया में पारदर्शिता की कमी है और कई मामलों में दोषियों को निष्पक्ष सुनवाई का मौका नहीं मिलता है। ईरान की सरकार का कहना है कि वह अपने देश की सुरक्षा और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए आतंकवाद और संगठित अपराधों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर रही है। उनका तर्क है कि इन कठोर सज़ाओं का उद्देश्य समाज को हिंसा और अपराध से बचाना है।
साल 2023 में 853 लोगों को दी फांसी
एक रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2023 में ईरान में 853 लोगों को फांसी की सजा दी गई थी, उसके बाद सऊदी अरब में 172 लोगों को मौत की सजा सुनाई गई. कहा ये भी जाता है कि चीन में सबसे ज्यादा मौत की सजा दी जाती है, लेकिन पुख्ता आंकड़े सामने नहीं आते हैं। ईरान में अभी और दी जाएगी लोगों को फांसी!
ह्यूमन राइट्स इन ईरान संस्था ने चिंता जताई है कि आने वाले महीने में भी सैकड़ों लोगों को ईरानी सरकार फांसी दे सकती है, क्योंकि अंतरराष्ट्रीय समुदाय का इस पर ध्यान नहीं है।