Edited By Tanuja,Updated: 22 Oct, 2024 04:30 PM
इन दिनों इजराइल हमास एवं हिज्बुल्लाह के खिलाफ दो मोर्चों पर युद्ध कर रहा है। इन दोनों ही समूहों को ईरान का समर्थन प्राप्त है, जिससे....
International Desk: इन दिनों इजराइल हमास एवं हिज्बुल्लाह के खिलाफ दो मोर्चों पर युद्ध कर रहा है। इन दोनों ही समूहों को ईरान का समर्थन प्राप्त है, जिससे इजराइल के लिए ईरान एक बड़ा दुश्मन बन गया है। इजराइल का गुस्सा चरम पर है और वो ईरान को नक्शे से मिटाने की फिराक में है लेकिन उसका मास्टर प्लान अमेरिका ने लीक कर दिया है। हाल ही में लीक हुए अमेरिकी खुफिया दस्तावेज़ों से यह खुलासा हुआ है कि इजराइल ने ईरान पर मीडियम रेंज की बैलिस्टिक जेरिको-2 मिसाइल से हमला करने की योजना बनाई थी, जिसके अंतर्गत 16 अक्टूबर को ईरान पर बमबारी की जानी थी। हालांकि, यह हमले बाद में रोका गया।
Also read:- इजराइल-हमास जंग रुकवाने की उम्मीद से 11वीं बार इजराइल पहुंचे ब्लिंकन
जेरिको-2 मिसाइल को बेहद खतरनाक माना जाता है क्योंकि यह सुपरसोनिक स्पीड से चलती है। ईरान के पास इस प्रकार की मिसाइलों को रोकने का कोई उपयुक्त साधन मौजूद नहीं है। यह मिसाइल तीन अलग-अलग वैरिएंट्स में आती है, जिनकी मारक क्षमता क्रमशः 500, 1500 और 4800 किलोमीटर है। इजराइल ने इस मिसाइल को अपनी सैन्य शक्ति में शामिल किया है, हालाँकि इसमें परमाणु बम जैसे विशेष गुण नहीं हैं, फिर भी इसकी मारक क्षमता इसे बहुत ताकतवर बनाती है।
ये भी पढ़ेंः- कर्ज से दबे मालदीव को दोस्त चीन और इस्लामिक देशों ने दिखाया ठेंगा, भारत ने बढ़ाया मदद का हाथ
इजराईल ने यह फैसला लिया था कि जेरिको-2 मिसाइल का उपयोग ईरान के खिलाफ एक निर्णायक हमले के लिए किया जाएगा, लेकिन संभावित परिणामों को देखते हुए इस हमले को टाल दिया गया। कुछ ही वर्षों में इजराईल अपनी जेरिको-2 मिसाइल का इस्तेमाल बंद कर देगा, जिसके कारण यह हमला योजनाबद्ध तरीके से महत्वपूर्ण हो सकता था।
इजराईल पहले ही ईरान समर्थित समूह हिज्बुल्लाह पर विभिन्न हमले कर चुका है, जिससे ईरान की प्रतिक्रिया आक्रामक हो गई है। हाल ही में, हिज्बुल्लाह के प्रमुख हसन नसरल्लाह की मौत के बाद, ईरान ने इजराइल पर 200 मिसाइल दागे। इस घटना ने इजराइल को और अधिक आक्रामक बनने के लिए प्रेरित किया है, जिसके परिणामस्वरूप क्षेत्र में स्थिति और भी तनावपूर्ण हो गई है।