Edited By Pardeep,Updated: 02 Oct, 2024 06:50 AM
इजराइल के खिलाफ ईरान ने मंगलवार को तब बड़ा एक्शन लिया, जब उसने लगभग 180 से ज्यादा मिसाइल्स बेंजामिन नेतन्याहू के मुल्क की ओर से दाग दीं। हमले के बाद आनन-फानन इजराइल में साइरन की आवाज गूंजने लगी और फौरन आम लोगों को बम शेल्टर्स में शिफ्ट किया जाने लगा।
इंटरनेशनल ड़ेस्कः इजराइल के खिलाफ ईरान ने मंगलवार को तब बड़ा एक्शन लिया, जब उसने लगभग 180 से ज्यादा मिसाइल्स बेंजामिन नेतन्याहू के मुल्क की ओर से दाग दीं। हमले के बाद आनन-फानन इजराइल में साइरन की आवाज गूंजने लगी और फौरन आम लोगों को बम शेल्टर्स में शिफ्ट किया जाने लगा।
ईरान के सरकारी टेलीविजन पर प्रसारित एक बयान में मंगलवार को कहा गया कि मिसाइल हमलों ने वायु एवं रडार ठिकानों के साथ साथ सुरक्षा तंत्र को निशाना बनाया जहां हमास एवं हिजबुल्ला के वरिष्ठ पदाधिकारियों की हत्या की योजना बनाई गई थी। बयान में कहा गया कि अंतरराष्ट्रीय नियमों के तहत ईरान को अपना बचाव़ करने का अधिकार है। टीवी स्टेशन पर ईरान के अज्ञात स्थलों से अंधेरे में मिसाइलों के प्रक्षेपण के फुटेज भी दिखाए गए।
ईरान के सरकारी टेलीविजन पर देश के अरक, कौम और तेहरान में लोगों को इजराइल पर मिसाइल दागे जाने का जश्न मनाते हुए भी दिखाया गया। सरकारी टेलीविजन पर लंबे समय से कट्टरपंथियों का नियंत्रण रहा है। जश्न मनाते लोगों में से कुछ चिल्ला रहे थे, ‘‘अल्लाह हो अकबर, अमेरिका का नाश हो, इजराइल का नाश हो।''
इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने सोमवार को ही ईरान को कड़े शब्दों में चेतावनी दी थी। ईरान हिजबुल्ला और हमास की मदद करता है। नेतन्याहू ने कहा था, ‘‘मध्य पूर्व में ऐसा कोई स्थान नहीं है जहां इजराइल पहुंच नहीं सकता।'' उनका यह बयान बेरुत के दक्षिण में किए गए हवाई हमले के चंद दिनों बाद आया जिसमें लेबनान के हिजबुल्ला समूह का नेता मारा गया था। हिजबुल्ला और इजराइल के बीच पिछले कुछ समय से लेबनानी सीमा पर लगभग रोज ही गोलाबारी चल रही है।
पिछले वर्ष आठ अक्तूबर को हमास ने इजराइल में अपने लड़ाकों को भेजा था और उसके बाद गाजा में भीषण संघर्ष शुरू हो गया। उस दौरान करीब 250 इजराइलियों को बंधक बनाया गया थ। किंतु बाद में इस संघर्ष का केंद्र बिंदु उत्तरी लेबनान बन गया जब हिजबुल्ला का प्रमुख हसन नसरल्ला इजराइली हमले में मारा गया।