Edited By Tanuja,Updated: 17 Nov, 2024 03:47 PM
पाकिस्तान दुर्भाग्य से, दुनिया में उन देशों में तीसरे स्थान पर है जहां सबसे अधिक बच्चे पोलियो रोधक टीकाकरण से वंचित हैं। यह स्थिति क्यों बनी हुई है? क्या यह माता-पिता के टीकाकरण को लेकर...
Peshawar: पाकिस्तान दुर्भाग्य से, दुनिया में उन देशों में तीसरे स्थान पर है जहां सबसे अधिक बच्चे पोलियो रोधक टीकाकरण से वंचित हैं। यह स्थिति क्यों बनी हुई है? क्या यह माता-पिता के टीकाकरण को लेकर नकारात्मक दृष्टिकोण और जागरूकता की कमी का परिणाम है? पाकिस्तान में बच्चों को अक्सर प्राथमिक नागरिक अधिकारों से वंचित किया जाता है, विशेष रूप से स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुंच से। 1990 में पाकिस्तान ने *संयुक्त राष्ट्र बाल अधिकार सम्मेलन (UNCRC)* पर हस्ताक्षर किए, लेकिन राजनीतिक अस्थिरता और सांस्कृतिक गलतफहमियों के कारण बच्चों को उनके बुनियादी अधिकार आज भी नहीं मिल पा रहे हैं।
*फ्रंटियर पोस्ट* की रिपोर्ट के अनुसार, अक्टूबर 2024 में 5 लाख बच्चे पोलियो टीकाकरण से वंचित रह गए। इस वर्ष पाकिस्तान में पोलियो के 48 मामले सामने आए हैं। जिनमें बलूचिस्तान में 23, सिंध मे 13, खैबर पख्तूनख्वा (केपी) में 10 और पंजाब तथा इस्लामाबाद में 1-1 केस सामने आया है।पोलियो के बढ़ते मामलों को देखते हुए 28 अक्टूबर से 3 नवंबर तक एक राष्ट्रीय पोलियो टीकाकरण अभियान चलाया गया, जिसमें 4.5 करोड़ बच्चों को टीका लगाने का लक्ष्य रखा गया था। प्रधानमंत्री के राष्ट्रीय स्वास्थ्य समन्वयक, मलिक मुख्तार अहमद बराथ ने कहा कि हम 5 लाख अस्वीकृत बच्चों को नहीं छोड़ेंगे। हम उन्हें ढूंढेंगे, ट्रैक करेंगे और उन्हें टीका लगाएंगे।"
बता दें इसी महीने, टीकाकरण कार्यकर्ताओं की सुरक्षा में लगे पुलिसकर्मियों पर बम हमले में पांच बच्चों सहित सात लोग मारे गए। आतंकवादी अक्सर टीकाकरण अभियानों को निशाना बनाते हैं, जिससे इनकी सफलता प्रभावित होती है। कई माता-पिता को टीकाकरण और संक्रामक बीमारियों के खतरों के बारे में जानकारी नहीं है। इसके अलावा अंधविश्वास और गलतफहमियां भी एक बड़ी बाधा हैं।तालिबान और अन्य कट्टरपंथी समूहों ने टीकाकरण को अमेरिकी साजिश बताकर इसकी निंदा की है। कई क्षेत्रों में फतवे जारी कर टीकाकरण को "मुस्लिम आबादी को बाँझ बनाने की साजिश" बताया गया है।
टीकाकरण अभियान से जुड़े अधिकारियों की हत्याओं और कार्यकर्ताओं पर हमलों की घटनाएं भी सामने आई हैं। सरकार पोलियो मामलों में वृद्धि के लिए अफगानिस्तान को जिम्मेदार ठहराती है। 2023 में शुरू हुए अवैध प्रवासियों के प्रत्यावर्तन अभियान के तहत, कई अफगान शरणार्थी, जो पोलियो टीकाकरण से वंचित थे, पाकिस्तान के अन्य हिस्सों में फैल गए, जिससे संक्रमण बढ़ा। बराथ ने दावा किया कि पाकिस्तान का पोलियो कार्यक्रम विश्वस्तरीय है और इसमें कोई खामी नहीं है।