इस राज्य में बीते 2 साल में 70 लाख लोग हुए गरीब, अब सरकार करेगी जांच

Edited By Utsav Singh,Updated: 12 Nov, 2024 07:08 PM

70 lakh people became poor in the last 2 years now government will investigate

देश की जनसंख्या लगातार बढ़ती जा रही है, तो वहीं मौजूदा सरकार दावा करती है कि गरीबी खत्म हो रही है। हालांकि, हरियाणा की  बात करें तो यहां पिछले दो सालों में लगभग 70 लाख से ज्यादा लोगों ने अपना नाम BPL श्रेणी में जोड़ लिया है। बीपीएल श्रेणी में आने...

नेशनल डेस्क : देश की जनसंख्या लगातार बढ़ती जा रही है, तो वहीं मौजूदा सरकार दावा करती है कि गरीबी खत्म हो रही है। हालांकि, हरियाणा की  बात करें तो यहां पिछले दो सालों में लगभग 70 लाख से ज्यादा लोगों ने अपना नाम BPL श्रेणी में जोड़ लिया है। बीपीएल श्रेणी में आने वाले लोगों को राज्य सरकार के कई लाभ मिलते हैं। आइए जानते है इस खबर को विस्तार से...

आपको बता दें कि हरियाणा की अनुमानित 2.8 करोड़ आबादी में से करीब 1.98 करोड़ लोग यानी लगभग 70 प्रतिशत लोग बीपीएल (गरीबी रेखा के नीचे) श्रेणी में आते हैं। बीपीएल श्रेणी में शामिल होने वाले लोगों को राज्य सरकार से कई लाभ मिलते हैं, जिनमें मुफ्त अनाज, सस्ती चीनी और तेल जैसी सुविधाएं शामिल हैं।

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बीपीएल श्रेणी के लाभ
बीपीएल कार्डधारकों को राज्य सरकार से कई प्रकार की सहायता मिलती है, जिनमें से कुछ प्रमुख लाभ ये हैं:

  • 5 किलो मुफ्त अनाज (गेहूं/बाजरा) प्रति व्यक्ति

  • 40 रुपये में 2 लीटर सरसों का तेल प्रति माह

  • 13.5 रुपये में 1 किलो चीनी प्रति माह

बीपीएल श्रेणी में वृद्धि: दो वर्षों में 70 लाख लोग जुड़े
यह आंकड़ा और भी चौंकाने वाला है कि पिछले दो वर्षों में 70 लाख से ज्यादा लोग बीपीएल श्रेणी में जोड़े गए हैं। दिसंबर 2022 में करीब 1.24 करोड़ लोग बीपीएल श्रेणी में शामिल थे, जो राज्य की कुल आबादी का 44 प्रतिशत था। अब इस आंकड़े में 26 प्रतिशत की वृद्धि हुई है और यह 1.98 करोड़ हो गया है। इससे यह सवाल उठता है कि क्या राज्य सरकार के विकास दावों को यह आंकड़े सही साबित करते हैं?

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हरियाणा सरकार की प्रतिक्रिया
इस बढ़ती बीपीएल आबादी पर सवाल उठने के बाद, हरियाणा के मंत्री राजेश नागर ने कहा कि इस मामले की जांच करवाई जाएगी। उन्होंने बताया कि अब परिवार पहचान पत्र (Family ID) को CRID (Citizen Registration ID) से जोड़ दिया गया है, जिसमें सेल्फ डिक्लेरेशन का प्रावधान है। इससे लोगों ने अपनी आय 1.8 लाख रुपये से कम दिखाकर बीपीएल श्रेणी में शामिल होने का दावा किया है। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था, इसलिए कुछ बदलाव किए गए हैं ताकि उन्हें सरकारी दफ्तरों के चक्कर न काटने पड़े। मंत्री ने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री से इस मामले पर चर्चा की जाएगी और जांच करवाई जाएगी।

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BPL धारकों की संख्या के हिसाब से प्रमुख जिले
सरकारी आंकड़ों के अनुसार, फरीदाबाद जिले में 14.29 लाख बीपीएल लाभार्थी हैं, जो राज्य के सबसे बड़े जिले के रूप में सामने आया है। इसके बाद हिसार (13.55 लाख) और मेवात (13.49 लाख) जिले आते हैं। वहीं, पंचकूला में बीपीएल धारकों की संख्या सबसे कम यानी 3.65 लाख है।

हरियाणा में बीपीएल आबादी का बढ़ना राज्य सरकार की योजनाओं पर सवाल उठा रहा है, खासकर तब जब इतने बड़े पैमाने पर लोग खुद को बीपीएल श्रेणी में शामिल कर रहे हैं। सरकार ने इस मामले की जांच की बात कही है, और अब यह देखना होगा कि क्या इसमें कोई गड़बड़ी है या यह सचमुच जरूरतमंद लोगों तक सरकारी लाभ पहुंचाने की कोशिश है।

 


 

 

 

 

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