Edited By Anu Malhotra,Updated: 07 Dec, 2024 09:05 AM
बीते कुछ सालों में उच्च शिक्षा और करियर के क्षेत्र में बड़े बदलाव देखे जा रहे। जहां कुछ पारंपरिक कोर्सेस का महत्व कम हुआ है, वहीं नए और उभरते सेक्टर्स में स्किल्स और शिक्षा की मांग तेजी से बढ़ रही है। खासतौर पर तकनीक के क्षेत्र में हो रहे बदलाव ने...
नेशनल डेस्क: बीते कुछ सालों में उच्च शिक्षा और करियर के क्षेत्र में बड़े बदलाव देखे जा रहे। जहां कुछ पारंपरिक कोर्सेस का महत्व कम हुआ है, वहीं नए और उभरते सेक्टर्स में स्किल्स और शिक्षा की मांग तेजी से बढ़ रही है। खासतौर पर तकनीक के क्षेत्र में हो रहे बदलाव ने जॉब मार्केट की तस्वीर बदल दी है।
अभिषेक मोहन गुप्ता की सलाह
Shrewsbury International School India के बोर्ड मैनेजमेंट के अध्यक्ष अभिषेक मोहन गुप्ता का कहना है कि 12वीं के बाद कोर्स चुनने से पहले उसका भविष्य में क्या महत्व रहेगा, यह जानना बेहद जरूरी है। आज के दौर में ग्लोबल जॉब मार्केट की आवश्यकताओं और तकनीक में हो रहे बदलावों के अनुसार खुद को अपडेट करना अनिवार्य हो गया है।
किन कोर्सेस की डिमांड घटी?
बीबीए, बीसीए, बीए, बीएससी, और बीकॉम जैसे पारंपरिक कोर्सेस की मांग में गिरावट आई है।
नौकरी बाजार में बढ़ती स्किल्स की मांग
ग्लोबल जॉब मार्केट में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, और एनालिटिक्स टूल्स जैसी टेक्नोलॉजी आधारित स्किल्स की मांग बढ़ रही है। इसके अलावा, लाइफ स्किल्स, जैसे फ्लेक्सिबिलिटी और अडैप्टेबिलिटी, भी प्रमुख कंपनियों के लिए एंप्लॉइज की चयन प्रक्रिया में अहम बन गई हैं।
2025 में उभरते करियर विकल्प
हायर एजुकेशन में अब डिजाइन, सेमीकंडक्टर्स, रिन्यूएबल एनर्जी, और बैटरी डेवलपमेंट जैसे फील्ड्स की डिमांड बढ़ रही है। स्कूल स्तर से ही इनसे जुड़ी स्किल्स पर ध्यान देना छात्रों के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है।