3 फीट 8 इंच कद... 32 साल से नहाए नहीं 'छोटे बाबा', महाकुंभ मेला में बने आकर्षण का केंद्र

Edited By rajesh kumar,Updated: 04 Jan, 2025 06:10 PM

chhote baba not take bath 32 years maha kumbh mela

उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ मेला 2025 में असम के कामाख्या पीठ से आए गंगापुरी महाराज, जिन्हें श्रद्धालु "छोटू बाबा" के नाम से भी जानते हैं, इस समय मेले के प्रमुख आकर्षण बने हुए हैं। छोटू बाबा का कद केवल 3 फीट 8 इंच है, और उनकी एक...

नेशनल डेस्क: उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ मेला 2025 में असम के कामाख्या पीठ से आए गंगापुरी महाराज, जिन्हें श्रद्धालु "छोटू बाबा" के नाम से भी जानते हैं, इस समय मेले के प्रमुख आकर्षण बने हुए हैं। छोटू बाबा का कद केवल 3 फीट 8 इंच है, और उनकी एक अजीबोगरीब बात ने उन्हें सबका ध्यान अपनी ओर खींच लिया है। उनका दावा है कि उन्होंने पिछले 32 वर्षों से स्नान नहीं किया है, और यही कारण है कि वे चर्चा का विषय बन गए हैं।

कहां लगाया है कैंप?
छोटू बाबा ने महाकुंभ मेला में संगम के किनारे अपना कैंप लगाया है, जहां वे श्रद्धालुओं से मिलते हैं, उन्हें आशीर्वाद देते हैं और उनके साथ बातचीत करते हैं। श्रद्धालु इनसे मिलने के लिए लंबी कतारों में खड़े रहते हैं और बाबा से आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। छोटू बाबा का यह अलग अंदाज और उनका दावा मेले में चर्चा का मुख्य विषय बन चुका है।

32 साल से स्नान न करने का कारण
गंगापुरी महाराज ने अपनी इस असामान्य आदत के बारे में विस्तार से बताया है। उन्होंने कहा कि वह 32 साल से स्नान नहीं कर रहे हैं, क्योंकि उनकी एक बड़ी इच्छा अभी तक पूरी नहीं हुई है। उनका कहना है, "मैं गंगा में स्नान नहीं करूंगा, क्योंकि मेरी एक विशेष इच्छा है जो पूरी नहीं हुई है।" हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि महाकुंभ मेले में शामिल होकर उन्हें बहुत खुशी हो रही है और इस आयोजन को देखकर वह बहुत खुश हैं।

महाकुंभ मेला 2025: श्रद्धालुओं की भीड़ और सुरक्षा व्यवस्थाएं
महाकुंभ मेला हर 12 साल में एक बार आयोजित होता है और यह एक बहुत बड़ा धार्मिक आयोजन है। इस बार महाकुंभ मेला 2025 में लाखों श्रद्धालु पहुंचने की उम्मीद है। मेले के मुख्य स्नान तिथियां 14 जनवरी, 29 जनवरी और 3 फरवरी हैं। प्रशासन ने इस बार मेले के दौरान सुरक्षा और व्यवस्था के लिए विशेष इंतजाम किए हैं ताकि श्रद्धालु बिना किसी परेशानी के यहां आकर अपने धार्मिक कर्तव्यों को निभा सकें।

आस्था और आधुनिकता का संगम
महाकुंभ मेला सिर्फ एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि यह आस्था और आधुनिकता का संगम भी है। प्रशासन ने श्रद्धालुओं की सुविधाओं के लिए आधुनिक तकनीकों का इस्तेमाल किया है, जिससे मेले में आने वाले लोगों को एक सुरक्षित और आरामदायक अनुभव मिले। यह आयोजन न केवल भारत की धार्मिक धरोहर को प्रदर्शित करता है, बल्कि आधुनिक सुविधाओं के माध्यम से श्रद्धालुओं को बेहतर अनुभव भी प्रदान करता है। महाकुंभ मेला 2025 का आयोजन इस बार बहुत खास है, और श्रद्धालुओं को धार्मिक आस्था के साथ-साथ आधुनिक सुविधाओं का भी अनुभव हो रहा है।

Related Story

Trending Topics

Afghanistan

134/10

20.0

India

181/8

20.0

India win by 47 runs

RR 6.70
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!