Inspiring Success: पिता लगाते हैं ठेला, बेटे ने बीपीएससी परीक्षा पास कर रचा इतिहास... बने जज

Edited By rajesh kumar,Updated: 30 Nov, 2024 03:08 PM

father runs handcart son created history passing bpsc exam became judge

बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) ने 32वीं न्यायिक सेवा परीक्षा 2024 का फाइनल रिजल्ट जारी कर दिया है। इस परीक्षा में कई उम्मीदवारों ने सफलता हासिल की है, लेकिन सबसे खास कहानी औरंगाबाद जिले के शिवगंज के आदर्श कुमार की है।

नई दिल्ली: बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) ने 32वीं न्यायिक सेवा परीक्षा 2024 का फाइनल रिजल्ट जारी कर दिया है। इस परीक्षा में कई उम्मीदवारों ने सफलता हासिल की है, लेकिन सबसे खास कहानी औरंगाबाद जिले के शिवगंज के आदर्श कुमार की है। आर्थिक तंगी के बावजूद उन्होंने न केवल अपने सपने पूरे किए बल्कि अपने परिवार का नाम भी रोशन किया।
PunjabKesari
पिता ने ठेला चलाकर पढ़ाया, बेटा बना जज
आदर्श कुमार के पिता विजय साव ठेले पर अंडा और ब्रेड बेचकर अपने सात सदस्यीय परिवार का भरण-पोषण करते हैं। कठिन परिस्थितियों में भी उन्होंने अपने बेटे की पढ़ाई में कोई कमी नहीं आने दी। आदर्श ने अपने पिता की मेहनत और संघर्ष को सम्मान देते हुए बीपीएससी की 32वीं न्यायिक सेवा परीक्षा में सफलता हासिल कर EBC (अति पिछड़ा वर्ग) श्रेणी में 120वीं मेरिट पाई और जज बने।

मां का बयान 
आदर्श की मां सुनैना देवी ने भी परिवार की मदद के लिए एक सेल्फ हेल्प ग्रुप से कर्ज लिया और अपने बच्चों की पढ़ाई का खर्च उठाया। यह बात उन्होंने अपने बच्चों और परिवार से छिपाकर रखी, ताकि बच्चों का ध्यान सिर्फ पढ़ाई पर रहे। आदर्श का कहना है कि माता-पिता ने हमेशा उन्हें प्रेरित किया और उनकी मेहनत को देखकर ही वह इस मुकाम तक पहुंचे हैं।

PunjabKesari
BPSC 32वीं न्यायिक सेवा परीक्षा के परिणाम

  • मुख्य परीक्षा: 463 उम्मीदवारों ने क्वालिफाई किया।
  • इंटरव्यू राउंड: 12 से 23 नवंबर 2024 के बीच आयोजित किया गया, जिसमें 458 उम्मीदवार उपस्थित हुए।
  • फाइनल रिजल्ट: कुल 153 उम्मीदवार सफल घोषित किए गए।

रिजल्ट और कट-ऑफ मार्क्स जारी
जो उम्मीदवार इंटरव्यू राउंड में शामिल हुए थे, वे बीपीएससी की आधिकारिक वेबसाइट bpsc.bih.nic.in पर जाकर अपना रिजल्ट और कट-ऑफ मार्क्स चेक कर सकते हैं।

PunjabKesari
आदर्श कुमार की सफलता बनी प्रेरणा

आदर्श ने अपनी सफलता को माता-पिता की मेहनत और संघर्ष का परिणाम बताया। उन्होंने कहा, "मेरे माता-पिता मेरे भगवान हैं। उनकी प्रेरणा और समर्थन के बिना मैं यह मुकाम हासिल नहीं कर सकता था।" आदर्श की कहानी यह साबित करती है कि मेहनत, लगन और परिवार के समर्थन से किसी भी चुनौती को पार किया जा सकता है। उनकी सफलता देश के हर युवा के लिए प्रेरणा है।

Related Story

Trending Topics

Afghanistan

134/10

20.0

India

181/8

20.0

India win by 47 runs

RR 6.70
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!