Edited By Anu Malhotra,Updated: 16 Nov, 2024 12:28 PM
स्वीडन से अमेरिका जा रही एक फ्लाइट को ग्रीनलैंड के ऊपर एक जबरदस्त तूफान का सामना करना पड़ा, जिससे विमान को इमरजेंसी लैंडिंग करनी पड़ी। तेज टर्बुलेंस के कारण विमान एक झटके में 8,000 फीट नीचे गिर गया, जिससे यात्रियों के बीच घबराहट फैल गई। विमान...
नेशनल डेस्क: स्वीडन से अमेरिका जा रही एक फ्लाइट को ग्रीनलैंड के ऊपर एक जबरदस्त तूफान का सामना करना पड़ा, जिससे विमान को इमरजेंसी लैंडिंग करनी पड़ी। तेज टर्बुलेंस के कारण विमान एक झटके में 8,000 फीट नीचे गिर गया, जिससे यात्रियों के बीच घबराहट फैल गई। विमान डगमगाने लगा, और डर के मारे यात्री चीखने-चिल्लाने लगे, जबकि उनके सामान इधर-उधर उड़ रहे थे। विमान के अंदर अफरा-तफरी मच गई, कुछ यात्री एक-दूसरे पर गिर पड़े थे और सामान बिखरा पड़ा था। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिसे देख कर हर कोई डर जाएगा।
कोपेनहेगन में इमरजेंसी लैंडिंग और यात्रियों की सुरक्षा
स्कैंडिनेवियन एयरलाइंस की फ्लाइट स्टॉकहोम से मियामी के लिए उड़ान भर रही थी, जब यह तूफान में फंस गई। जैसे ही विमान में पैनिक फैल गया, पायलट ने तुरंत नजदीकी एयरपोर्ट से संपर्क किया और फ्लाइट को कोपेनहेगन की ओर डायवर्ट किया। विमान के नीचे गिरने के बाद जब यह स्टेबल हुआ, तो यात्रियों ने राहत की सांस ली, लेकिन विमान में काफी नुकसान हुआ और कई यात्री घायल हो गए थे। सामान इधर-उधर बिखरा था, प्लेट्स और खाना उड़ते हुए दिखाई दे रहे थे।
यात्रियों का प्राथमिक उपचार और उन्हें होटल में ठहराया गया
एविएशन सोर्स के अनुसार, किसी यात्री को गंभीर चोट नहीं आई, लेकिन एक शख्स का सिर छत से टकरा गया था। यात्रियों को प्राथमिक उपचार दिया गया और विमान की सफाई की गई। स्कैंडिनेवियन एयरलाइंस ने बताया कि विमान के नुकसान का आकलन अभी तक नहीं किया जा सका है, लेकिन कोपेनहेगन एयरपोर्ट पर यात्रियों की देखभाल के लिए पर्याप्त सुविधाएं और कर्मचारी मौजूद हैं। यात्रियों को कोपेनहेगन के होटलों में ठहराया गया है, और उन्हें सुरक्षित रूप से उनके गंतव्य तक पहुँचाने के लिए आवश्यक व्यवस्था की जा रही है।
यात्रियों की देखभाल में कोई कसर नहीं छोड़ी जा रही
हालांकि यह घटना डरावनी थी, लेकिन अधिकारियों ने आश्वस्त किया कि सुरक्षा प्रक्रियाओं का पालन करते हुए पायलट और एयरलाइन क्रू ने तुरंत कार्रवाई की। यात्रियों को पूरी तरह से सुरक्षित रखने और उनके बाद के सफर की व्यवस्था करने के लिए सभी कदम उठाए जा रहे हैं।