Edited By Parminder Kaur,Updated: 18 Mar, 2024 12:39 PM
Flipkart ने ग्राहक का iPhone का ऑर्डर अपनी मर्जी से रद्द कर दिया, जिसके बाद अब कंपनी को जुर्माना देना होगा। एक उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग ने फ्लिपकार्ट को अनुचित व्यापार प्रथाओं का दोषी पाया है। आयोग ने आदेश दिया कि फ्लिपकार्ट ग्राहक को 10,000 रुपये...
गैजेट डेस्क. Flipkart ने ग्राहक का iPhone का ऑर्डर अपनी मर्जी से रद्द कर दिया, जिसके बाद अब कंपनी को जुर्माना देना होगा। एक उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग ने फ्लिपकार्ट को अनुचित व्यापार प्रथाओं का दोषी पाया है। आयोग ने आदेश दिया कि फ्लिपकार्ट ग्राहक को 10,000 रुपये का भुगतान करे।
जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग (DCDRC) मुंबई ने पिछले महीने पारित आदेश में कहा कि अतिरिक्त लाभ कमाने के लिए जानबूझकर आर्डर को रद्द किया गया था। हालांकि ग्राहक को रिफंड मिल गया था, लेकिन ऑर्डर को मनमाने तरीके से रद्द करने के कारण ग्राहक को हुई मानसिक पीड़ा के लिए उसे मुआवजा मिलना चाहिए।
शिकायतकर्ता के अनुसार, उसने 10 जुलाई 2022 को Flipkart से iPhone आर्डर किया और क्रेडिट कार्ड से 39,628 रुपये का भुगतान किया। फोन को 12 जुलाई को पहुंचाया जाना था, लेकिन छह दिन बाद ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट से आर्डर रद्द किए जाने का SMS मिला। संपर्क करने पर कंपनी ने बताया कि डिलीवरी ब्वॉय ने फोन पहुंचाने के कई प्रयास किए थे लेकिन शिकायतकर्ता अनुपलब्ध था। इसलिए आर्डर रद्द कर दिया गया। आर्डर रद्द होने से उसका मानसिक उत्पीड़न हुआ। हालांकि फ्लिपकार्ट का कहना है कि वह केवल एक विक्रेता और ग्राहक के बीच ऑनलाइन प्लेटफार्म के रूप में काम करती है।
हालांकि आयोग ने कहा कि फ्लिपकार्ट ने स्वीकारा है कि आर्डर रद्द कर दिया गया था और शिकायतकर्ता को नया आर्डर देने के लिए कहा गया था। आरोप है कि iPhone की लागत लगभग 7,000 रुपये बढ़ गई थी और इसलिए ऑर्डर रद्द कर दिया गया था और नया ऑर्डर देने के लिए कहा गया था। फ्लिपकार्ट ने ग्राहक को पैसे भी रिफंड कर दिए थे। आयोग ने बताया कि फ्लिपकार्ट ने अतिरिक्त लाभ कमाने के लिए जानबूझकर ऐसा किया था, जो अनुचित और प्रतिबंधात्मक व्यापार प्रथाओं के बराबर है। आयोग ने Flipkart को शिकायतकर्ता को हुए मानसिक उत्पीड़न के मुआवजे के रूप में 10,000 रुपये भुगतान करने का आदेश दिया।