Edited By Anu Malhotra,Updated: 16 Nov, 2024 09:03 AM
शादी के सीजन में आमतौर पर सोने के गहने की की मांग में इजाफा होता है, लेकिन इस बार इसमें कमी देखी जा रही है। दिसंबर में शादियों की संख्या बढ़ने वाली है, और आमतौर पर इस समय तक दुल्हनों के लिए सोने की खरीदारी शुरू हो जानी चाहिए थी, लेकिन सोने की कीमतों...
नेशनल डेस्क: शादी के सीजन में आमतौर पर सोने के गहने की की मांग में इजाफा होता है, लेकिन इस बार इसमें कमी देखी जा रही है। दिसंबर में शादियों की संख्या बढ़ने वाली है, और आमतौर पर इस समय तक दुल्हनों के लिए सोने की खरीदारी शुरू हो जानी चाहिए थी, लेकिन सोने की कीमतों में हालिया गिरावट ने ग्राहकों को खरीदारी से रोक दिया है।
अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप के प्रेज़िडेंशियल चुनाव जीतने के बाद, डॉलर की कीमत में वृद्धि हुई है, जिससे सोने की कीमतों में गिरावट आई है। ट्रंप के चुनाव जीतने के बाद से सोने का दाम 4,622 रुपये प्रति 10 ग्राम गिर चुका है। रिपोर्ट्स के अनुसार, 5 नवंबर को जब ट्रंप की जीत की पुष्टि हुई थी, तब सोने की कीमत ₹78,566 प्रति 10 ग्राम थी, जो अब ₹73,944 तक गिर चुकी है, यानी इसमें 6.25% की कमी आई है।
इस गिरावट के बावजूद, सोना अभी भी पिछले साल की तुलना में 17% महंगा बिक रहा है। डॉलर की मजबूती ने सोने की कीमतों पर दबाव डाला है, और डॉलर इंडेक्स में वृद्धि के कारण सोने की कीमतें प्रभावित हुईं।
सोने के व्यापारी और जूलर्स भी इस गिरावट को अस्थायी मानते हुए स्टॉक से बचने की कोशिश कर रहे हैं। फिलहाल, लोग छोटे जूलरी पीस खरीद रहे हैं, लेकिन जूलर्स को उम्मीद है कि दिसंबर तक कीमतों में और गिरावट आएगी, जिससे खरीदारों की संख्या बढ़ेगी।
ऑल इंडिया जेम एंड जूलरी काउंसिल के वाइस चेयरमैन, रोकड़े ने कहा कि सोने की कीमतों में गिरावट अस्थायी है। दिसंबर तक कीमतें खरीदारों के लिए आकर्षक हो सकती हैं, और जनवरी-फरवरी में जब ट्रंप अपनी आर्थिक नीतियां घोषित करेंगे, तब अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोने की कीमतें ₹3,000 प्रति ट्रॉय आउंस तक बढ़ सकती हैं।