Edited By Radhika,Updated: 27 Jun, 2024 06:44 PM
![governor has no right to stop mlas from taking oath mamata banerjee](https://img.punjabkesari.in/multimedia/914/0/0X0/0/static.punjabkesari.in/2024_6image_18_43_537325111mamta-ll.jpg)
पश्चिम बंगाल विधानसभा के उपचुनाव में निर्वाचित TMC के दो विधायकों को शपथ दिलाने के स्थान को लेकर उत्पन्न विवाद के बीच राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्यपाल सी.वी. आनंद बोस को यह प्रकिया रोकने का कोई अधिकार नहीं है।
नेशनल डेस्क: पश्चिम बंगाल विधानसभा के उपचुनाव में निर्वाचित TMC के दो विधायकों को शपथ दिलाने के स्थान को लेकर उत्पन्न विवाद के बीच राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्यपाल सी.वी. आनंद बोस को यह प्रकिया रोकने का कोई अधिकार नहीं है। बनर्जी ने कहा कि राजभवन से कई घटनाओं की खबर आने के बाद उन्हें महिलाओं से शिकायतें मिली हैं जिन्होंने दावा किया है कि वे वहां जाने में असुरक्षित महसूस करती हैं।
मुख्यमंत्री ने राज्य सचिवालय में कहा, ‘‘मेरे विधायकों सायंतिका बंदोपाध्याय और रायत हुसैन सरकार को निर्वाचित हुए एक करीब एक महीना हो गया है लेकिन अब तक वे शपथ नहीं ले पाए हैं। राज्यपाल उन्हें ऐसा करने से रोक रहे हैं। यह जनता है जिसने उन्हें चुना है, न कि राज्यपाल ने। वह शपथ लेने के उनके अधिकार से वंचित नहीं कर सकते हैं।'' उन्होंने कहा, ‘‘क्यों सभी को राजभवन जाना चाहिए? राज्यपाल (विधानसभा) अध्यक्ष या उपाध्यक्ष को अधिकृत कर सकते हैं या स्वयं विधानसभा आ सकते हैं। महिलाओं ने मुझे सूचित किया है कि राजभवन से आई खबरों के मद्देनजर वे वहां जाने से डरती हैं।'' राज्यपाल ने हाल में हुए उपचुनाव में निर्वाचित दोनों विधायकों को बुधवार को राजभवन में शपथ लेने के लिए आमंत्रित किया था। हालांकि, उन्होंने यह कहते हुए आमंत्रण को अस्वीकार कर दिया कि परंपरा के अनुसार उपचुनाव जीतने वाले उम्मीदवार के मामले में राज्यपाल विधानसभा अध्यक्ष या उपाध्यक्ष को शपथ दिलाने का काम सौंपते हैं।
राज्यपाल विधानसभा में शपथग्रहण समारोह आयोजित करने से इनकार करते हुए बुधवार दोपहर नयी दिल्ली के लिए रवाना हो गए। इसके जवाब में वराहनगर से निर्वाचित विधायक सायंतिका बंदोपाध्याय और भगबानगोला से निर्वाचित हुए रायत हुसैन सरकार विधानसभा परिसर में भीमराव आंबेडकर की प्रतिमा के सामने बैठ गए। उन्होंने मांग की कि राज्यपाल बोस विधानसभा के अंदर शपथग्रहण समारोह आयोजित कराकर उन्हें निर्वाचित जनप्रतिनिधियों के कर्तव्य का निर्वहन करने दें।