Parliament Session 2024: 'संभल में जो घटना हुई, वह एक सोची समझी साजिश', लोकसभा में सरकार पर बरसे अखिलेश यादव

Edited By rajesh kumar,Updated: 03 Dec, 2024 01:01 PM

incident happened sambhal well planned conspiracy akhilesh yadav

संसद के शीतकालीन सत्र का आज सातवां दिन है। अखिलेश यादव ने संभल हिंसा पर लोकसभा में बोलते हुए केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला। अखिलेश ने कहा कि संभल में जो घटना हुई है, वह एक सोची समझी साजिश है और संभल में भाईचारे को गोली मारी गई है।

नेशनल डेस्क: संसद के शीतकालीन सत्र का आज सातवां दिन है। अखिलेश यादव ने संभल हिंसा पर लोकसभा में बोलते हुए केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला। अखिलेश ने कहा कि संभल में जो घटना हुई है, वह एक सोची समझी साजिश है और संभल में भाईचारे को गोली मारी गई है। भाजपा और उसके सहयोगी दलों द्वारा पूरे देश में खुदाई की बातें देश के भाईचारे को नष्ट कर देंगी। 

सरकार संविधान को नहीं मानती- अखिलेश यादव
संभल मामले पर अखिलेश यादव ने कहा, "संभल में जो घटना हुई, वह एक सोची-समझी साजिश है। उत्तर प्रदेश में 13 नवंबर को उपचुनाव होने थे, लेकिन इसे 20 नवंबर तक टाल दिया गया। यह सरकार संविधान को नहीं मानती। संभल में शाही जामा मस्जिद के खिलाफ याचिका दायर की गई थी। दूसरे पक्ष की बात सुनने से पहले ही मस्जिद के सर्वेक्षण का आदेश पारित कर दिया गया। 19 नवंबर को सर्वेक्षण किया गया और रिपोर्ट कोर्ट को दी जानी थी।''

निर्दोष लोग मारे गए, दर्जनों घायल हुए 
उन्होंने कहा कि 24 नवंबर को फिर से सर्वेक्षण किया गया, जिसके दौरान लोग सर्वेक्षण का कारण जानने के लिए एकत्र हुए। सर्किल ऑफिसर ने वहां एकत्र लोगों के साथ दुर्व्यवहार किया और लाठीचार्ज किया गया। इसके बाद पुलिस ने अपने सरकारी और निजी हथियारों से फायरिंग की, जिसमें दर्जनों लोग घायल हुए और 5 निर्दोष मारे गए। पुलिस और प्रशासन के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया जाना चाहिए और उन्हें निलंबित किया जाना चाहिए, ताकि लोगों को न्याय मिल सके और भविष्य में ऐसी घटना न दोहराई जाए। 

राम गोपाल यादव पुलिस की बर्बरता का आरोप लगाया
सपा प्रमुख के बयान उनके पार्टी सहयोगी राम गोपाल यादव द्वारा राज्यसभा में संभल में हुई घटना के दौरान कथित पुलिस ज्यादतियों के बारे में की गई टिप्पणी के बाद आए हैं। यादव ने 24 नवंबर को संभल में हुई घटना के दौरान पुलिस की बर्बरता का आरोप लगाया। यादव के अनुसार, स्थानीय लोगों को इसके उद्देश्य के बारे में बताए बिना सुबह से ही जिले में व्यापक पुलिस तैनाती की गई थी। उन्होंने कहा कि जिला मजिस्ट्रेट (डीएम), वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी), वकील और अन्य लोग ढोल-नगाड़ों के साथ मस्जिद में घुस गए, जिससे भीड़ में संदेह पैदा हो गया और उन्हें तोड़फोड़ का डर था।

पुलिस की गोलीबारी में 5 लोगों की मौत 
यादव ने दावा किया कि उपद्रव तब शुरू हुआ जब उप-विभागीय मजिस्ट्रेट (एसडीएम) ने मस्जिद के अंदर एक पानी की टंकी खोली, जिससे स्थानीय लोगों में संभावित छेड़छाड़ की चिंता पैदा हो गई। कथित तौर पर उपद्रव हिंसा में बदल गया, जिसके दौरान पुलिस ने गोलियां चलाईं, जिससे पांच लोगों की मौत हो गई और 20 अन्य घायल हो गए। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि कई मामले दर्ज किए गए, कई लोगों को जेल भेजा गया और बंदियों को बुरी तरह पीटा गया।

पूरे विपक्ष ने कुछ देर के लिए वाकआउट किया
इससे पहले उत्तर प्रदेश के संभल में हाल ही में हुई हिंसा को लेकर विपक्ष के नेता राहुल गांधी समेत लोकसभा में लगभग पूरे विपक्ष ने मंगलवार को सदन से कुछ देर के लिए वाकआउट किया। जैसे ही सदन प्रश्नकाल के लिए बैठा, समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता अखिलेश यादव अपनी सीट से उठे और इस मुद्दे को उठाया तथा स्पीकर ओम बिरला से इस विषय पर बोलने की अनुमति मांगी।यादव ने कहा, "यह बहुत गंभीर मामला है। पांच लोगों की जान चली गई है।" स्पीकर ने कहा कि सदस्य इस मुद्दे को शून्यकाल में उठा सकते हैं, जिसके बाद यादव और उनकी पार्टी के सहयोगियों ने विरोध में वाकआउट करना शुरू कर दिया। हालांकि, कुछ सपा सदस्य नारे लगाते हुए वेल में चले गए।

 

Related Story

Trending Topics

Afghanistan

134/10

20.0

India

181/8

20.0

India win by 47 runs

RR 6.70
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!