बांग्लादेश संकट पर PM मोदी ने बुलाई उच्चस्तरीय बैठक; UK-US और EU ने दी तीखी प्रतिक्रिया, नेपाल को सता रहा अपना डर

Edited By Tanuja,Updated: 06 Aug, 2024 11:01 AM

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बांग्लादेश संकट को  लेकर कई देशों की प्रतिक्रिया सामने आई है। भारत, अमेरिका,  ब्रिटेन, यूरोपीय संघ व नेपाल ने बांग्लादेश  के गंभीर...

International Desk: बांग्लादेश संकट को  लेकर कई देशों की प्रतिक्रिया सामने आई है। भारत, अमेरिका,  ब्रिटेन, यूरोपीय संघ व नेपाल ने बांग्लादेश  के गंभीर हालात पर चिंता व्यक्त की है।  बांग्लादेश के राजनीतिक हालात को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने आधिकारिक आवास पर उच्चस्तरीय बैठक की। पीएम मोदी की अध्यक्षता में हुई सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति की इस उच्चस्तरीय महत्वपूर्ण बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, विदेश मंत्री एस. जयशंकर और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के अलावा कई अन्य उच्च अधिकारी शामिल रहे। बैठक में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल के प्रधानमंत्री मोदी को भारत आईं शेख हसीना के साथ अपनी बैठक के बारे में जानकारी देने की बात सामने आई ।

 

दूसरी तरफ, नेपाल ने बांग्लादेश के नागरिकों की संभावित घुसपैठ की आशंका के चलते भारत से लगती अपनी सीमा पर सुरक्षा बढ़ा दी है। वहीं, नेपाल ने हिंसा प्रभावित बांग्लादेश के नागरिकों की संभावित घुसपैठ की आशंका के चलते भारत से लगती अपनी सीमा पर सुरक्षा बढ़ा दी है। नेपाल में पुलिस ने बताया कि बांग्लादेश के हालात के मद्देनजर गृह मंत्रालय ने सुरक्षा एजेंसियों को अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्रों से अनधिकृत प्रवेश को रोकने के लिए सीमा पर उच्च सतर्कता बरतने का निर्देश दिया है। शेख हसीना के देश छोड़ने और सेना के सत्ता संभालने के बाद यूरोपीय संघ (EU) ने सोमवार को बांग्लादेश में लोकतांत्रिक शासन के लिए "व्यवस्थित और शांतिपूर्ण" परिवर्तन का आह्वान किया। यूरोपीय संघ के विदेश नीति प्रमुख जोसेप बोरेल ने कहा, "ईयू शांति और संयम का आह्वान करता है। यह महत्वपूर्ण है कि मानवाधिकारों और लोकतांत्रिक सिद्धांतों के पूर्ण सम्मान में लोकतांत्रिक रूप से चुनी गई सरकार के लिए एक व्यवस्थित और शांतिपूर्ण परिवर्तन सुनिश्चित किया जाए।"

 

 

ब्रिटेन ने सोमवार को बांग्लादेश में लोकतंत्र बहाल करने के लिए ‘‘त्वरित कार्रवाई'' का आह्वान किया। ब्रिटेन की यह प्रतिक्रिया ऐसे समय में आई है, जब बांग्लादेश की नेता शेख हसीना प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देकर अचानक भारत पहुंचीं और उनके ब्रिटेन से शरण मांगने की खबरें सामने आईं है। ढाका में, बांग्लादेश के सेना प्रमुख जनरल वकार-उज-जमां ने कहा कि हसीना ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है और एक अंतरिम सरकार कार्यभार संभालने जा रही है। पिछले दो दिनों में, हसीना सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों में 100 से अधिक लोग मारे गए हैं। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री केअर स्टार्मर के प्रवक्ता ने ‘10 डाउनिंग स्ट्रीट' में संवाददाताओं से कहा कि वह (स्टार्मर) हाल के हफ्तों में बांग्लादेश में हुई हिंसा से बहुत दुखी हैं। बांग्लादेश की स्थिति पर एक सवाल के जवाब में प्रवक्ता ने कहा, ‘‘हम उम्मीद करते हैं कि लोकतंत्र बहाली के लिए त्वरित कार्रवाई की जाए और बांग्लादेश में लोगों की सुरक्षा की दिशा में तेजी से कदम उठाए जाएं।''
 

अमेरिका ने कहा है कि बांग्लादेश में लोकतांत्रिक मूल्यों, कानून के शासन और बांग्लादेशी लोगों की इच्छा का सम्मान करते हुए अंतरिम सरकार का गठन किया जाना चाहिए। विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने सोमवार को वाशिंगटन में अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, “हम बांग्लादेश के लोगों को बांग्लादेश की सरकार का भविष्य निर्धारित करते हुए देखना चाहते हैं।” बांग्लादेश में आरक्षण विरोधी हिंसक प्रदर्शनों के बीच प्रधानमंत्री शेख हसीना के अचानक इस्तीफा देने और देश छोड़कर जाने से अराजकता की स्थिति पैदा हो गई है।  

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