Edited By Parveen Kumar,Updated: 09 Apr, 2025 09:54 PM
अब देश में हर बच्चे के जन्म और किसी व्यक्ति की मौत की जानकारी 21 दिन के अंदर देना जरूरी हो गया है। अगर ऐसा नहीं किया गया, तो अस्पतालों पर जुर्माना लग सकता है और कानूनी कार्रवाई भी हो सकती है।
नेशनल डेस्क : अब देश में हर बच्चे के जन्म और किसी व्यक्ति की मौत की जानकारी 21 दिन के अंदर देना जरूरी हो गया है। अगर ऐसा नहीं किया गया, तो अस्पतालों पर जुर्माना लग सकता है और कानूनी कार्रवाई भी हो सकती है।
RGI ने अस्पतालों को दी सख्त चेतावनी
रजिस्ट्रार जनरल ऑफ इंडिया (RGI) ने सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों को साफ-साफ कहा है कि जन्म और मृत्यु की जानकारी समय पर देना उनकी जिम्मेदारी है, न कि परिवार वालों की।
फिलहाल क्या स्थिति है?
- अभी देश में करीब 90% जन्म और मृत्यु ही दर्ज हो पा रहे हैं।
- सरकार चाहती है कि ये आंकड़ा 100% तक पहुंचे।
रजिस्ट्रेशन में देरी क्यों हो रही है?
- RGI का कहना है कि कई अस्पताल खुद से जानकारी नहीं दे रहे, बल्कि परिवार वालों से अपील का इंतजार कर रहे हैं। यह नियम के खिलाफ है।
- सरकारी अस्पतालों को रजिस्ट्रार के तौर पर काम करना होता है, लेकिन वे इसमें लापरवाही बरत रहे हैं।
नया नियम क्या है?
- 21 दिन के अंदर जन्म या मौत की जानकारी देना जरूरी है।
- ऐसा नहीं करने पर जुर्माना और कानूनी कार्रवाई हो सकती है।
- RGI ने 17 मार्च 2025 के सर्कुलर में यह निर्देश दिया है।
अब सिर्फ डिजिटल सर्टिफिकेट ही मान्य होगा
- 1 अक्टूबर 2023 से सरकार ने साफ कर दिया है कि केवल डिजिटल जन्म प्रमाण पत्र (Digital Birth Certificate) ही मान्य होगा।
- यह सर्टिफिकेट स्कूल एडमिशन, नौकरी, शादी आदि सभी जरूरी कामों में इस्तेमाल होगा।
- RGI ने रजिस्ट्रारों को आदेश दिया है कि 7 दिन के भीतर सर्टिफिकेट जारी किया जाए, और इसमें कोई देरी नहीं होनी चाहिए।