Edited By Parveen Kumar,Updated: 16 Dec, 2024 12:59 AM
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने रविवार को कहा कि भारत और चीन दोनों के हित में है कि वे ‘‘एक संतुलन कायम करें'' लेकिन समस्या यह है कि ‘‘हम अभी भी अल्पकालिक उपायों से जूझ रहे हैं'' और फिलहाल अल्पकालिक उपाय तनाव कम करने पर केंद्रित होंगे। ने रविवार को कहा...
इंटरनेशनल डेस्क : विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने रविवार को कहा कि भारत और चीन दोनों के हित में है कि वे ‘‘एक संतुलन कायम करें'' लेकिन समस्या यह है कि ‘‘हम अभी भी अल्पकालिक उपायों से जूझ रहे हैं'' और फिलहाल अल्पकालिक उपाय तनाव कम करने पर केंद्रित होंगे। हाल में भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर सैनिकों की गश्त और पीछे हटने को लेकर एक समझौता हुआ, जो चार साल से जारी गतिरोध को समाप्त करने की दिशा में एक बड़ी सफलता है।
जयशंकर ने कहा, ‘‘संतुलन स्थापित करना दोनों देशों के हित में है। हालांकि, वैचारिक रूप से ऐसा करना कठिन है, क्योंकि दोनों ही देश पूर्ण रूप से बदल रहे हैं, इसलिए यह बहुत जटिल समीकरण है। विश्व बदल रहा है, हम बदल रहे हैं, विश्व के साथ संबंध बदल रहे हैं और दोनों देशों के संबंध भी बदल रहे हैं।'' यहां आईसीसी में ‘इंडियाज वर्ल्ड' पत्रिका के विमोचन के बाद आयोजित कार्यक्रम में जयशंकर ने विदेश नीति मामलों के विशेषज्ञ सी. राजा मोहन के साथ परिचर्चा के दौरान ये बातें कहीं।
जयशंकर ने कहा, ‘‘इसलिए, इन सभी परिवर्तनों में, आप संतुलन कैसे पाएंगे... यह पसंदीदा विकल्प होगा, लेकिन समस्या यह है कि अभी हम अल्पकालिक उपायों से जूझ रहे हैं, और अभी अल्पावधि में तनाव कम करने पर ध्यान दिया जाएगा, क्योंकि सैनिकों के पीछे हटने के मुद्दे पर प्रगति हुई है, लेकिन अन्य मुद्दे भी हैं।''