Edited By rajesh kumar,Updated: 23 Sep, 2024 01:34 PM
बिहार के नालंदा जिले के सदर अस्पताल में सोमवार को एक चौंकाने वाली घटना घटी, जिसे कई लोग चमत्कार मान रहे हैं। एक शख्स, जिसे पुलिस ने मृत घोषित कर दिया था, वह करीब 30 मिनट बाद अचानक जिंदा हो गया। यह देखकर वहां मौजूद पुलिसकर्मी और डॉक्टर हैरान रह गए।
नेशनल डेस्क: बिहार के नालंदा जिले के सदर अस्पताल में सोमवार को एक चौंकाने वाली घटना घटी, जिसे कई लोग चमत्कार मान रहे हैं। एक शख्स, जिसे पुलिस ने मृत घोषित कर दिया था, वह करीब 30 मिनट बाद अचानक जिंदा हो गया। यह देखकर वहां मौजूद पुलिसकर्मी और डॉक्टर हैरान रह गए।
घटना उस वक्त शुरू हुई, जब अस्पताल के बाथरूम में एक शख्स बेहोश पड़ा मिला। सफाई कर्मी ने सबसे पहले उसे देखा और तुरंत पुलिस को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और उस व्यक्ति को मृत घोषित कर दिया। इसके बाद फोरेंसिक टीम को बुलाया गया ताकि सबूत इकट्ठा किए जा सकें। पुलिस ने उस व्यक्ति के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजने की तैयारी शुरू कर दी।
'मैं मरा नहीं हूं, मैं जिंदा हूं'
लेकिन जैसे ही शव को पोस्टमार्टम के लिए ले जाया जाने लगा, उस शख्स ने अचानक अपनी आंखें खोल लीं और फिर हड़बड़ाते हुए खड़ा हो गया। यह देखकर अस्पताल में अफरा-तफरी मच गई। वहां मौजूद लोग उसे भूत समझने लगे, लेकिन वह चिल्लाकर बोला, "मैं मरा नहीं हूं, मैं जिंदा हूं।"
नशे की हालत में सो गया था- डॉक्टर
डॉक्टरों ने तुरंत उसकी जांच की और पाया कि वह पूरी तरह स्वस्थ था। पूछताछ के दौरान उस व्यक्ति ने बताया कि वह बाथरूम में गिरा नहीं था, बल्कि नशे की हालत में सो गया था। उसकी चप्पलें बाथरूम के बाहर थीं और सफाई कर्मी ने दरवाजा कई बार खटखटाया था, लेकिन नशे की वजह से वह दरवाजा नहीं खोल पाया। सफाई कर्मी ने दरवाजा तोड़कर देखा और उसे मरा समझ लिया।
पुलिस का बयान
पुलिस ने बताया कि उस व्यक्ति का नाम राकेश केवट है और वह नालंदा के अस्थावां थाना क्षेत्र के जीराइन गांव का निवासी है। राकेश को पुलिस पूछताछ के लिए थाने ले गई, क्योंकि वह नशे की हालत में अस्पताल आया था, जबकि ऐसी स्थिति में किसी को अस्पताल में आने की अनुमति नहीं होती। पुलिस अब इस बात की जांच कर रही है कि वह अस्पताल में कैसे दाखिल हुआ। अस्पताल प्रशासन और पुलिस के अनुसार, राकेश की हालत सामान्य है और उसे किसी प्रकार की कोई गंभीर समस्या नहीं है।