Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 25 Mar, 2025 04:21 PM

नया वित्तीय वर्ष 2025-26 शुरू होते ही स्रोत पर टैक्स कटौती (TDS) के नए नियम लागू होने जा रहे हैं। सरकार ने केंद्रीय बजट 2025 में आम करदाताओं, वरिष्ठ नागरिकों, निवेशकों और कमीशन एजेंटों के लिए बड़े बदलाव किए हैं, जिससे उन्हें टैक्स बचाने और अधिक पैसा...
नेशनल डेस्क: नया वित्तीय वर्ष 2025-26 शुरू होते ही स्रोत पर टैक्स कटौती (TDS) के नए नियम लागू होने जा रहे हैं। सरकार ने केंद्रीय बजट 2025 में आम करदाताओं, वरिष्ठ नागरिकों, निवेशकों और कमीशन एजेंटों के लिए बड़े बदलाव किए हैं, जिससे उन्हें टैक्स बचाने और अधिक पैसा अपने पास रखने में मदद मिलेगी। आइए जानते हैं नए नियमों के तहत आपके बैंक एफडी, म्यूचुअल फंड, लॉटरी और कमीशन इनकम पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
सीनियर सिटिजन्स के लिए राहत
सरकार ने वरिष्ठ नागरिकों को राहत देने के लिए फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) और रेकरिंग डिपॉजिट (RD) पर टीडीएस कटौती की सीमा को दोगुना कर दिया है।
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पहले 50,000 रुपये तक की ब्याज आय पर कोई TDS नहीं लगता था, अब यह सीमा 1 लाख रुपये कर दी गई है।
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यानी अगर किसी वरिष्ठ नागरिक की एक वित्तीय वर्ष में ब्याज आय 1 लाख रुपये से कम है, तो बैंक TDS नहीं काटेगा।
सामान्य नागरिकों के लिए TDS में बदलाव
गैर-वरिष्ठ नागरिकों के लिए भी सरकार ने राहत दी है। अब बैंक 50,000 रुपये तक की ब्याज आय पर कोई TDS नहीं काटेगा, जबकि पहले यह सीमा 40,000 रुपये थी।
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अगर आपकी कुल वार्षिक ब्याज आय 50,000 रुपये से अधिक होती है, तो ही बैंक TDS काटेगा।
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यह कदम उन जमाकर्ताओं के लिए फायदेमंद होगा जो अपनी बचत FD और RD में रखते हैं।
लॉटरी और घुड़दौड़ पर नए TDS नियम
पहले लॉटरी, घुड़दौड़ और अन्य खेलों से होने वाली कुल वार्षिक जीत 10,000 रुपये से अधिक होने पर TDS काटा जाता था।
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अब नया नियम कहता है कि केवल 10,000 रुपये से अधिक की एकल लेनदेन पर ही TDS काटा जाएगा।
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छोटे-छोटे दांव जीतने वालों को अब राहत मिलेगी।
बीमा एजेंटों और ब्रोकरों को राहत
बीमा एजेंट और ब्रोकर अब अधिक कमीशन राशि अपने पास रख सकेंगे क्योंकि सरकार ने TDS सीमा बढ़ा दी है।
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पहले 15,000 रुपये तक की कमीशन इनकम पर TDS नहीं लगता था, अब यह सीमा 20,000 रुपये कर दी गई है।
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इससे बीमा और वित्तीय सेवा क्षेत्र के छोटे एजेंटों को अधिक लाभ मिलेगा।
म्यूचुअल फंड और स्टॉक निवेशकों को फायदा
म्यूचुअल फंड यूनिट्स और स्टॉक्स से अर्जित लाभांश और अन्य आय पर छूट सीमा बढ़ा दी गई है।
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पहले 5,000 रुपये की सीमा थी, जिसे 10,000 रुपये कर दिया गया है।
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यानी अब 10,000 रुपये तक के लाभांश पर कोई TDS नहीं लगेगा।
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इक्विटी और म्यूचुअल फंड निवेशकों को इससे फायदा होगा क्योंकि उनके हाथ में अधिक राशि बचेगी।
नए नियमों का आपके वित्त पर प्रभाव
1 अप्रैल 2025 से लागू हो रहे ये नए TDS नियम खासकर उन लोगों के लिए राहत लेकर आएंगे जो ब्याज, कमीशन, म्यूचुअल फंड लाभांश और अन्य स्रोतों से आय प्राप्त करते हैं। इससे करदाताओं को अधिक नकदी रखने और अपने निवेश को बेहतर तरीके से प्रबंधित करने में मदद मिलेगी।