हम मणिपुर में सामान्य स्थिति और समृद्धि लाने के लिए प्रतिबद्ध हैं: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण

Edited By Radhika,Updated: 18 Mar, 2025 09:45 PM

nirmala sitharaman committed to restoring normalcy and prosperity in manipur

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को राज्यसभा में कहा कि केंद्र सरकार मणिपुर में सामान्य स्थिति और समृद्धि लाने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके साथ ही उन्होंने राज्य के आर्थिक विकास के लिए सभी तरह का समर्थन देने का आश्वासन दिया। वित्त मंत्री ने उच्च...

नेशनल डेस्क : वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को राज्यसभा में कहा कि केंद्र सरकार मणिपुर में सामान्य स्थिति और समृद्धि लाने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके साथ ही उन्होंने राज्य के आर्थिक विकास के लिए सभी तरह का समर्थन देने का आश्वासन दिया। वित्त मंत्री ने उच्च सदन में यह बात मणिपुर के बजट और उससे संबंधित अनुदान की अनुपूरक मांगों पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए कही। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि कुछ छिटपुट घटनाओं को छोड़कर पूर्वोत्तर राज्य में कुल मिलाकर कानून व्यवस्था की स्थिति में सुधार हुआ है। सीतारमण ने पिछले सप्ताह सोमवार को 2025-26 के लिए मणिपुर का बजट पेश किया था, जिसमें 35,103.90 करोड़ रुपये के व्यय का अनुमान किया गया है, जो चालू वित्त वर्ष के 32,656.81 करोड़ रुपये से अधिक है। संविधान के अनुच्छेद 356 के तहत 13 फरवरी 2025 को जारी उद्घोषणा के परिणामस्वरूप, मणिपुर राज्य के विधानमंडल की शक्तियां संसद द्वारा या उसके प्राधिकार के तहत प्रयोग की जाएंगी।

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सीतारमण ने कहा, ‘‘...केंद्र और राज्य सरकार, दोनों के सामूहिक प्रयास से, कुछ छिटपुट (घटनाओं) को छोड़कर, राज्य में कानून और व्यवस्था की स्थिति में काफी हद तक सुधार हुआ है।'' वित्त मंत्री ने यह भी आश्वासन दिया कि मणिपुर को तेज आर्थिक विकास के लिए हरसंभव वित्तीय सहायता दी जाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘हम मणिपुर में सामान्य स्थिति और समृद्धि लाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।'' उन्होंने कहा कि मणिपुर में हिंसा के कारण वहां की आर्थिक गतिविधियों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा। किंतु उन्होंने भरोसा जताया कि राज्य जल्द ही इन सबसे उबर जाएगा। उन्होंने कहा कि गृह मंत्री अमित शाह मणिपुर गये थे और वहां उन्होंने कई राहत शिविरों में जाकर पीड़ितों की समस्याओं को गंभीरता के साथ सुना।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा मणिपुर का दौरा नहीं किए जाने के विपक्ष के आरोपों का जवाब देते हुए सीतारमण ने कहा कि पूर्व में तत्कालीन प्रधानमंत्री पीवी नरसिंह राव एवं इन्द्रकुमार गुजराल के शासनकाल में भी मणिपुर में अशांति की स्थिति बनी थी किंतु उस समय के प्रधानमंत्री एक बार भी वहां नहीं गये थे। वित्त मंत्री ने तृणमूल कांग्रेस सहित विपक्ष पर आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जब मणिपुर के बारे में लोकसभा में बोल रहे थे तब विपक्ष ने उन्हें बोलने नहीं दिया और वे लगातार टोकाटाकी और हंगामा कर रहे थे किंतु प्रधानमंत्री ने दृढ़ता से अपनी बात रखी। उन्होंने विपक्ष से अनुरोध किया कि ‘‘मणिपुर एक संवेदनशील मुद्दा है, हम सभी को एक-दूसरे का समर्थन करना होगा''। उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी सरकार ने मणिपुर सहित देश के सभी राज्यों के प्रति पूरी संवेदनशीलता दिखायी है। विपक्ष मणिपुर को लेकर केंद्र के रुख पर सवाल उठाता रहा है और भाजपा के ‘डबल इंजन की सरकार' नारे पर तंज कसता रहा है।

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इसकी ओर संकेत करते हुए वित्त मंत्री ने कहा, ‘‘डबल इंजन निश्चित रूप से डबल इंजन। इसीलिए गृह मंत्री वहां थे (चार दिन तक) और गृह राज्य मंत्री वहां 23 से अधिक दिन तक रहे।'' उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए, कृपया तुलना मत करिए कि आपने मणिपुर के साथ कैसा बर्ताव किया था और यह सरकार मणिपुर को लेकर कैसे काम कर रही है। हमारी संवदेनशीलता अधिक है, हम मणिपुर और इस देश के प्रत्येक राज्य की परवाह करते हैं।'' सीतारमण ने सदन को सूचित किया कि राज्य को पूंजी निवेश के लिए विशेष सहायता के तौर पर 2024-25 में 913 करोड़ रूपये दिये गये। उन्होंने कहा, ‘‘हमने मणिपुर के लिए एक आपदा कोष बनाया और 500 करोड़ रूपये उन्हें आवंटित किए। '' राज्य में फिलहाल राष्ट्रपति शासन लगा हुआ है।

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