Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 07 Feb, 2025 07:50 PM
![on sending back illegal immigrants in handcuffs](https://img.punjabkesari.in/multimedia/914/0/0X0/0/static.punjabkesari.in/2025_2image_19_50_035711872sanjeev-ll.jpg)
भारत ने शुक्रवार को कहा कि उसने अमेरिका के सामने अवैध भारतीय प्रवासियों के साथ किए गए दुर्व्यवहार पर अपनी चिंता जाहिर की है। विशेष रूप से, उन प्रवासियों को हथकड़ी लगाकर अमेरिका से भारत वापस भेजे जाने की घटना को लेकर यह टिप्पणी की गई है।
नेशनल डेस्क: भारत ने शुक्रवार को कहा कि उसने अमेरिका के सामने अवैध भारतीय प्रवासियों के साथ किए गए दुर्व्यवहार पर अपनी चिंता जाहिर की है। विशेष रूप से, उन प्रवासियों को हथकड़ी लगाकर अमेरिका से भारत वापस भेजे जाने की घटना को लेकर यह टिप्पणी की गई है। अमेरिका द्वारा अवैध भारतीय प्रवासियों को सैन्य विमान से वापस भेजने की प्रक्रिया में करीब 40 घंटे की उड़ान के दौरान उन्हें हथकड़ी लगाई गई। इस मुद्दे पर भारत ने अपनी आपत्ति जताते हुए कहा है कि इस तरह का व्यवहार न केवल अवैध है, बल्कि इससे बचा जा सकता था। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा, “हमने अमेरिका को अवगत कराया है कि इस तरह के व्यवहार से बचने के उपाय हैं और भारत की चिंताओं को गंभीरता से लिया जाना चाहिए।”
487 भारतीय नागरिकों का किया गया चयन
मिस्री ने यह भी बताया कि अमेरिका ने कुल 487 भारतीय नागरिकों को अवैध प्रवासी के रूप में चिन्हित किया है, जिनमें से 298 का विवरण भारत के साथ साझा किया गया है। इस पर भारत ने अमेरिकी अधिकारियों से इस जानकारी का सत्यापन करना शुरू कर दिया है। हालांकि, उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि अवैध प्रवासियों को लौटाने की अमेरिकी नीति 2012 से ही लागू है।
क्या भारत ने 2012 में विरोध दर्ज किया था?
जब विदेश सचिव से पूछा गया कि क्या भारत ने 2012 में इस तरह के दुर्व्यवहार का विरोध किया था, तो उन्होंने कहा कि उन्हें इस संबंध में कोई रिकॉर्ड नहीं मिला। हालांकि, उन्होंने यह बताया कि विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इस मुद्दे पर संसद में बयान दिया था, जिसमें कहा गया था कि इस तरह के मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) की जानकारी अमेरिकी अधिकारियों से प्राप्त की गई थी। भारत ने यह स्पष्ट किया है कि वह हमेशा अमेरिकी अधिकारियों के सामने यह मुद्दा उठाता रहेगा कि अवैध प्रवासियों के साथ कोई दुर्व्यवहार न हो। मिस्री ने कहा, “हमारे ध्यान में कोई भी दुर्व्यवहार आने पर हम उसे तुरंत उठाते हैं और उसकी जांच कराते हैं।” भारत ने अवैध आव्रजन के मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए इसे “असली कैंसर” करार दिया है। उन्होंने कहा कि इससे निपटने के लिए और सख्त कार्रवाई की आवश्यकता है। यह संकेत दिया गया है कि भारतीय नागरिकों को अवैध रूप से अन्य देशों में जाने से रोकने के लिए भारत को और कड़े कदम उठाने की जरूरत है।