Edited By Parminder Kaur,Updated: 14 Dec, 2024 12:13 PM
नवंबर महीने में भारत में यात्री वाहनों की डीलरों को भेजी गई खेपों में 4.1 प्रतिशत तक का इजाफा हुआ है, जो कि अब तक की सबसे बड़ी संख्या है। हालांकि, इसके बावजूद खुदरा बिक्री में 14 प्रतिशत की गिरावट देखी गई है। यदि दिसंबर महीने में बिक्री में सुधार...
ऑटो डेस्क. नवंबर महीने में भारत में यात्री वाहनों की डीलरों को भेजी गई खेपों में 4.1 प्रतिशत तक का इजाफा हुआ है, जो कि अब तक की सबसे बड़ी संख्या है। हालांकि, इसके बावजूद खुदरा बिक्री में 14 प्रतिशत की गिरावट देखी गई है। यदि दिसंबर महीने में बिक्री में सुधार नहीं होता है, तो बिना बिके वाहनों का स्टॉक और बढ़ सकता है।
खेपों में इजाफा, लेकिन बिक्री में गिरावट
सोसायटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स (SIAM) के आंकड़ों के अनुसार, नवंबर में मूल उपकरण विनिर्माताओं (OEMs) ने डीलरों को 3,47,522 यात्री वाहनों की खेप भेजी। यह संख्या पिछले साल की तुलना में 4.1 प्रतिशत अधिक है। अक्टूबर और नवंबर में लंबे त्योहारी सीजन के कारण आधार अधिक था, जिससे वाहनों की खेप में वृद्धि देखी गई। हालांकि, नवंबर में खुदरा बिक्री सुस्त रही, जिससे बिना बिके वाहनों के स्टॉक में वृद्धि हो सकती है।
बिना बिके वाहनों का बढ़ता स्टॉक
फेडरेशन ऑफ ऑटोमोबाइल डीलर्स एसोसिएशन (FADA) ने इस हफ्ते की शुरुआत में बताया था कि बाजार में कमजोर मनोबल नए वाहनों की सीमित लॉन्चिंग और अक्टूबर में त्योहारी सीजन की शुरुआत के कारण नवंबर में प्रदर्शन कमजोर रहा। FADA के अनुसार, बिना बिके वाहनों का स्टॉक 65 से 68 दिनों के अधिक स्तर पर बना हुआ है, जबकि यह आंकड़ा आमतौर पर 55-60 दिनों का होता है। इस स्थिति को लेकर FADA ने OEMs से लगातार अनुरोध किया है कि वे डीलरों को पर्याप्त आपूर्ति करें, ताकि नए साल में स्टॉक की स्थिति बेहतर हो सके।
कंपनियों के पास 30 दिनों तक का स्टॉक
देश की सबसे बड़ी यात्री वाहन निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी इंडिया ने 1 दिसंबर को कहा था कि उसके पास 30 दिनों तक का वाहन स्टॉक है। इसी तरह, टाटा मोटर्स ने भी बताया कि उनके पास 30 दिनों का स्टॉक उपलब्ध है। हालांकि, उद्योग के जानकारों का कहना है कि विभिन्न OEMs मासिक आधार पर खुदरा और थोक बिक्री के आंकड़ों की तुलना करते हैं, ताकि वे डीलरों को सही मात्रा में वाहन भेज सकें।
ऑटोमोबाइल सेक्टर में स्थिति
FADA के अध्यक्ष सीएस विघ्नेश्वर ने बिजनेस स्टैंडर्ड को बताया कि वर्तमान में यात्री वाहनों के क्षेत्र में पूरे उद्योग का स्टॉक करीब 65 दिनों का है। यह संख्या दिसंबर के लिए ऐतिहासिक रूप से अधिक हो सकती है। SIAM के महानिदेशक राजेश मेनन ने कहा कि अक्टूबर में त्योहारी सीजन के दौरान जो मांग देखी गई थी, वह नवंबर में भी जारी रही, हालांकि दोपहिया और तिपहिया वाहनों की बिक्री में मामूली गिरावट देखी गई।
आगे की चुनौती
अगर दिसंबर में खुदरा बिक्री में तेजी नहीं आती है, तो वाहन निर्माता कंपनियों को बिना बिके वाहनों के बढ़ते स्टॉक की समस्या का सामना करना पड़ सकता है। FADA और SIAM दोनों ही संगठनों ने OEMs से अपील की है कि वे डीलरों को सही समय पर आपूर्ति करें, ताकि नए साल में यह समस्या और अधिक न बढ़े।