Edited By Anu Malhotra,Updated: 25 Jul, 2024 11:41 AM
भगवान जब देता है तो ,छप्पर फाड़ कर देता है यह कथन उस समय बिल्कुल सच साबित हुआ जब एक गरीब की रातों-रात किस्मत चमक उठी। दरअसल, हीरों की धरती पन्ना में एक गरीब आदिवासी मजदूर परिवार की किस्मत उस समय चमक उठी जब 10 साल परिवार के अथक परिश्रम के बाद परिवार...
नेशनल डेस्क: भगवान जब देता है तो ,छप्पर फाड़ कर देता है यह कथन उस समय बिल्कुल सच साबित हुआ जब एक गरीब की रातों-रात किस्मत चमक उठी। दरअसल, हीरों की धरती पन्ना में एक गरीब आदिवासी मजदूर परिवार की किस्मत उस समय चमक उठी जब 10 साल परिवार के अथक परिश्रम के बाद परिवार को खदान से 19.22 कैरेट का जैम क्वालिटी का हीरा मिला है। इसे बुधवार को जिला हीरा कार्यालय में जमा कराया। हीरे की अनुमानित कीमत सवा करोड़ रुपए है। अब इस हीरे को अगली आने वाली नीलामी में रखा जाएगा।
अहिरगांव निवासी चुनवादा गौंड ने इसी साल मई में हीरा खदान के लिए पट्टा बनवाया। उसे कृष्णा-कल्याणपुर में जमीन मिली। मंगलवार को चाल की धुलाई के दौरान बेटे राजू को यह कीमती हीरा मिला। इससे पहले से ही पूरा परिवार 10 साल से हीरा तलाश कर रहा था।
चुनवादा के परिवार को पिछले साल ही पीएम आवास आवंटित हुआ था। खदान लेने के लिए परिवार पर चार लाख का पहले से ही कर्जा हो गया था। चुनवादा का कहना है कि वह हीरा बिकने पर मिलने वाली राशि से सबसे पहले कर्जा चुकाएंगे। उसके बाद जमीन खरीदकर घर बनाएंगे। इसके बाद बच्चों की अच्छे से पढ़ाई कराएंगे।
कड़ी मेहनत के बाद चमकी किस्मत
बता दें कि चुनवादा गौंड ने सिर्फ 200 रुपये की रसीद कटवाकर हीरा कार्यालय से 20 मई 2024 को कृष्ण कल्याणपुर के पटी क्षेत्र में हीरा खदान खोदने के लिए पट्टा बनवाया था। चुनवादा को 8x8 मीटर की जगह दी गई, जिसमें वह हीरे की खोज के लिए खुदाई करता था। एक बार पट्टा जारी होने के बाद चुनवादा ने पत्नी और बच्चों के साथ दिन-रात एक कर हीरे की तलाश में खुदाई करता रहता। दो महीने तक कड़ी मेहनत के बाद आखिरकार उसकी किस्मत रंग लाई और जैम क्वालिटी का 19.22 कैरेट का हीरा हाथ लगा।