Edited By Tanuja,Updated: 26 Sep, 2024 06:12 PM
पुलित्जर पुरस्कार विजेता (Pulitzer Prize winner) भारतीय मूल की लेखिका झुम्पा लाहिड़ी (Jhumpa Lahir) ने गाजा (aza) में फिलीस्तीनियों के...
Washington: पुलित्जर पुरस्कार विजेता (Pulitzer Prize winner) भारतीय मूल की लेखिका झुम्पा लाहिड़ी (Jhumpa Lahir) ने गाजा (aza) में फिलीस्तीनियों के प्रति एकजुटता दिखाने के लिए ‘कुफिय्या' (kaffiyeh) पहनने वाले तीन कर्मचारियों को निकाले जाने के विरोध में अमेरिका के क्वींस स्थित नोगुची संग्रहालय से पुरस्कार लेने से इनकार कर दिया है। संग्रहालय ने बुधवार को एक बयान में कहा, ‘‘झुम्पा लाहिड़ी ने हमारी नयी पोशाक संहिता नीति के विरोध में 2024 इसामु नोगुची पुरस्कार के लिए अपनी स्वीकृति वापस लेने का फैसला किया है।''
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न्यूयॉर्क टाइम्स (NeeYork Times) ने बयान के हवाले से कहा, ‘‘हम उनके दृष्टिकोण का सम्मान करते हैं और समझते हैं कि यह नीति हर किसी के विचारों के अनुरूप हो भी सकती है और नहीं भी।'' इसमें कहा गया, ‘‘हम समावेशिता और खुलेपन के अपने मूल्यों को कायम रखते हुए इसामु नोगुची की कला और विरासत की समझ एवं सराहना को आगे बढ़ाने के अपने मुख्य मिशन के लिए प्रतिबद्ध हैं।'' न्यूयॉर्क स्थित संग्रहालय की स्थापना लगभग 40 साल पहले जापानी-अमेरिकी डिजाइनर एवं मूर्तिकार नोगुची ने की थी। संग्रहालय ने पिछले महीने घोषणा की थी कि कर्मचारी अपने काम के घंटों के दौरान ‘‘राजनीतिक संदेश, नारे या प्रतीक'' व्यक्त करने वाले कपड़े या कोई अन्य चीज नहीं पहन सकते। संबंधित नीति आगंतुकों पर लागू नहीं होती।
यह संग्रहालय के कई कर्मचारियों द्वारा काफी समय से फिलस्तीनियों के समर्थन में ‘कुफिय्या' पहने जाने के बाद लागू की गई थी। इसके तहत तीन कर्मचारियों को निकाल दिया गया। संग्रहालय ने इस महीने की शुरुआत में निषेध का बचाव करते हुए कहा, ‘‘इस तरह की अभिव्यक्तियां अनजाने में हमारे विविध आगंतुकों को आपस में बांट सकती हैं।'' अनेक कर्मचारियों ने नियम का विरोध करते हुए एक याचिका पर हस्ताक्षर किए। लाहिड़ी और कोरियाई मूल के चित्रकार, मूर्तिकार एवं कवि ली उफान को अगले महीने इसामु नोगुची पुरस्कार मिलना था।