रेल यात्रियों को मिली खुशखबरी, जनरल डिब्बों में सफर करने वालों को मिलेगी राहत

Edited By Rahul Singh,Updated: 04 Dec, 2024 05:40 PM

railway minister ashwini vaishnaw 10 thousand new coaches will be added

रेल मंत्री ने मोदी सरकार के तहत रेलवे के विकास के बारे में भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि पिछले 10 वर्षों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में रेलवे ने अभूतपूर्व विकास किया है। इसके तहत रेलगाड़ियों में एक हजार सामान्य कोच जोड़ने का कार्यक्रम...

नई दिल्ली। यदि आप रेल सफर करते हैं तो आपके लिए खुशखबरी सामने आई है। दरअसल, जनरल डिब्बों में सफर करने वालों को राहत मिलने वाली है क्योंकि डिब्बों की सख्यां में भारी इजाफा होने वाला है। यह जानकारी रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने दी। उन्होंने बुधवार को लोकसभा में एक अहम विधेयक पेश किया, जिसमें 1989 के रेलवे अधिनियम और 1905 के भारतीय रेलवे बोर्ड अधिनियम को एकीकृत करने का प्रस्ताव है। इस विधेयक को ‘रेल संशोधन विधेयक, 2024’ नाम दिया गया है, और इसका उद्देश्य रेलवे की क्षमता में वृद्धि करना है। वैष्णव ने सदन में विधेयक को चर्चा और पारित करने के लिए प्रस्तुत करते हुए कहा कि यह बदलाव भारतीय रेलवे के विकास और विस्तार में मदद करेगा।

उन्होंने बताया कि भारतीय रेलवे का इतिहास बहुत पुराना है और रेलवे की शुरुआत लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के अंग के रूप में हुई थी। 1905 में इसे पीडब्ल्यूडी से अलग कर भारतीय रेलवे बोर्ड का गठन किया गया था। इसके बाद 1989 में रेलवे अधिनियम लागू किया गया, लेकिन उस समय 1905 के रेलवे बोर्ड अधिनियम को इसमें एकीकृत नहीं किया गया। वैष्णव के अनुसार, यह विधेयक इस कमी को दूर करने के लिए लाया गया है। उनका कहना था कि भारतीय रेलवे बोर्ड अधिनियम 1905 को रेलवे अधिनियम 1989 में एकीकृत करने से रेलवे के संचालन और क्षमता में सुधार होगा, जिससे इसके विकास में मदद मिलेगी।

10 हजार नए डिब्बे जोड़े जाएंगे

इसके साथ ही, रेल मंत्री ने मोदी सरकार के तहत रेलवे के विकास के बारे में भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि पिछले 10 वर्षों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में रेलवे ने अभूतपूर्व विकास किया है। इसके तहत रेलगाड़ियों में एक हजार सामान्य कोच जोड़ने का कार्यक्रम इस महीने के अंत तक पूरा कर लिया जाएगा। इसके अलावा, कुल मिलाकर 10 हजार नए डिब्बे जोड़ने की योजना बनाई गई है। इसके साथ ही, रेलवे के बजट में वृद्धि, विद्युतीकरण और नेटवर्क विस्तार के प्रयासों को भी प्राथमिकता दी जा रही है।

सुरक्षा के मामले में भी रेलवे ने अहम कदम उठाए हैं। वैष्णव ने कहा कि मोदी सरकार के कार्यकाल में रेलवे में सुरक्षा के मुद्दे पर विशेष ध्यान दिया गया है। उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि यूपीए सरकार के दौरान औसतन 153 रेल हादसे हर साल होते थे, जबकि पिछले साल यह संख्या घटकर 40 हो गई थी और इस साल अब तक 29 रेल हादसे हुए हैं। उन्होंने यह भी बताया कि भविष्य में रेल हादसों को और कम करने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं और सुरक्षा उपायों को और मजबूत किया जा रहा है। इस विधेयक और रेलवे के सुधारों के बारे में वैष्णव का कहना था कि यह कदम रेलवे के विकास को और तेज करेगा और भारतीय रेलवे को और अधिक सक्षम बनाएगा, जिससे यात्रियों को बेहतर सेवाएं मिल सकेंगी।

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