Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 17 Feb, 2025 02:00 PM
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प्रयागराज में महाकुंभ के आगमन के साथ ही अयोध्या में स्थित राम मंदिर ने न केवल श्रद्धालुओं के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल के रूप में पहचान बनाई, बल्कि अब आय अर्जित करने में भी एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है। पिछले कुछ महीनों में अयोध्या में...
नेशनल डेस्क: प्रयागराज में महाकुंभ के आगमन के साथ ही अयोध्या में स्थित राम मंदिर ने न केवल श्रद्धालुओं के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल के रूप में पहचान बनाई, बल्कि अब आय अर्जित करने में भी एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है। पिछले कुछ महीनों में अयोध्या में श्रद्धालुओं का आंकड़ा बढ़ता ही जा रहा है। खासतौर पर राम मंदिर में भगवान राम के दर्शन के लिए आने वाले भक्तों की संख्या में आश्चर्यजनक वृद्धि देखी जा रही है। यह वृद्धि न केवल श्रद्धालुओं की संख्या में है, बल्कि दान में भी रिकॉर्ड तोड़े जा रहे हैं। राम मंदिर की आय में जबरदस्त वृद्धि हुई है और वर्तमान में यह देश के सबसे अधिक आय अर्जित करने वाले मंदिरों में तीसरे स्थान पर पहुंच चुका है। पिछले साल 22 जनवरी 2024 को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद से मंदिर में दर्शन करने के लिए आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या लगातार बढ़ी है। इस दौरान मंदिर की सालाना आय 700 करोड़ रुपये से भी अधिक हो चुकी है।
आय के इस आंकड़े को देखकर साफ पता चलता है कि राम मंदिर अब अपनी दान आय में स्वर्ण मंदिर, वैष्णो देवी और शिरडी के साई बाबा मंदिर से भी आगे निकल चुका है। ये आंकड़े जनवरी 2024 से जनवरी 2025 तक के हैं, और इस एक साल के दौरान 13 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालु और पर्यटक अयोध्या पहुंचे हैं।
दान के नए रिकॉर्ड
राम मंदिर में रोजाना करीब 4 लाख श्रद्धालु दर्शन करने आते हैं, जिससे दान में भारी वृद्धि हो रही है। मंदिर ट्रस्ट के मुताबिक, राम मंदिर के दस काउंटरों पर रोजाना 10 लाख रुपये से अधिक का चढ़ावा चढ़ता है। रामलला के समक्ष रखी दानपात्रों में भी बड़ी धनराशि जमा हो रही है। महाकुंभ के दौरान श्रद्धालुओं की संख्या में बढ़ोतरी होने से दान में और भी वृद्धि की संभावना है। पिछले एक महीने में ही लगभग 15 करोड़ रुपये का दान एकत्र हो चुका है, और यदि श्रद्धालुओं की संख्या इसी तरह बढ़ती रही तो यह आंकड़ा और बढ़ सकता है।
देश के सबसे अधिक आय अर्जित करने वाले मंदिर
राम मंदिर ने अपनी आय के मामले में कई प्रमुख मंदिरों को पीछे छोड़ दिया है। अगर हम सबसे अधिक आय अर्जित करने वाले मंदिरों की बात करें तो आंध्र प्रदेश स्थित तिरुपति वेंकटेश्वर मंदिर की सालाना आय 1500 से 1650 करोड़ रुपये के बीच है, जबकि केरल के पद्मनाभस्वामी मंदिर की आय 750 से 800 करोड़ रुपये के बीच है। स्वर्ण मंदिर की आय 650 करोड़, वैष्णो देवी मंदिर की आय 600 करोड़ और शिरडी साई मंदिर की आय 500 करोड़ रुपये है। इन आंकड़ों के आधार पर, राम मंदिर की बढ़ती आय से यह साफ है कि श्रद्धालुओं की आस्था और दान दोनों ही तेजी से बढ़ रहे हैं।
महाकुंभ का असर और श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि
महाकुंभ में स्नान करने के बाद लाखों श्रद्धालु रामनगरी अयोध्या पहुंच रहे हैं, जिससे यहां के राम मंदिर में दिन-प्रतिदिन बढ़ती भीड़ देखी जा रही है। प्रशासन भी श्रद्धालुओं के ध्यान में रखते हुए सभी व्यवस्थाओं को बेहतर बनाए रख रहा है।
हालांकि, हाल के दिनों में अयोध्या में श्रद्धालुओं की भीड़ थोड़ी कम हुई है, खासकर रविवार को जब राम मंदिर में अपेक्षाकृत कम भीड़ देखी गई। श्रद्धालुओं ने बिना ज्यादा इंतजार किए रामलला और हनुमानगढ़ी के दर्शन किए।