Edited By Radhika,Updated: 27 Feb, 2025 02:00 PM
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SC ने जीएसटी एक्ट और कस्टम्स एक्ट के तहत गिरफ्तारी को लेकर एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा है कि बिना किसी उचित कारण के किसी को गिरफ्तार करना गलत है। कोर्ट ने यह भी कहा कि इन कानूनों का उद्देश्य नागरिकों को डराना-धमकाना नहीं है।
नेशनल डेस्क: SC ने जीएसटी एक्ट और कस्टम्स एक्ट के तहत गिरफ्तारी को लेकर एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा है कि बिना किसी उचित कारण के किसी को गिरफ्तार करना गलत है। कोर्ट ने यह भी कहा कि इन कानूनों का उद्देश्य नागरिकों को डराना-धमकाना नहीं है। अगर किसी को गिरफ्तारी का डर हो, तो वह अग्रिम जमानत के लिए आवेदन कर सकता है और इसके लिए FIR का इंतजार करने की जरूरत नहीं है।
इस फैसले में चीफ जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस बेला त्रिवेदी और जस्टिस एम एम सुंदरेश की बेंच ने 200 से ज्यादा याचिकाओं का निपटारा किया। इन याचिकाओं में जीएसटी और कस्टम्स एक्ट के तहत गिरफ्तारी के नियमों के गलत इस्तेमाल का मामला उठाया गया था। बेंच ने कहा कि गिरफ्तारी से संबंधित अधिकार, जो सीआरपीसी और बीएनएसएस में दिए गए हैं, वही जीएसटी और कस्टम्स के मामलों में भी लागू होते हैं।
SC ने PMLA कानून से जुड़े एक मामले का भी हवाला दिया, जिसमें कहा गया था कि गिरफ्तारी से पहले यह साफ करना जरूरी है कि गिरफ्तारी क्यों की जाए। कोर्ट ने अब कस्टम्स एक्ट और जीएसटी एक्ट की धाराओं को भी इसी तरह का नियम माना है, यानी बिना उचित कारण के गिरफ्तारी नहीं हो सकती।
कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि जीएसटी या कस्टम्स अधिकारी पुलिस की तरह नहीं होते, और उनके पास पुलिस अधिकारी जैसी ताकत नहीं होती। वे किसी को डराकर अपने खिलाफ बयान देने के लिए मजबूर नहीं कर सकते। अगर किसी के साथ ऐसा किया जाता है, तो वह कोर्ट में शिकायत कर सकता है।