Edited By Radhika,Updated: 17 Mar, 2025 03:51 PM

Supreme Court में भारत के Comptroller and Auditor General (CAG) की भर्ती प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई हुई। इस याचिका में डिमांड की गई है कि CAG की नियुक्ति के लिए एक स्वतंत्र पैनल बनाया जाए।
नेशनल डेस्क : Supreme Court में भारत के Comptroller and Auditor General (CAG) की भर्ती प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई हुई। इस याचिका में डिमांड की गई है कि CAG की नियुक्ति के लिए एक स्वतंत्र पैनल बनाया जाए। इस पैनल में पीएम, विपक्ष नेता और भारत के चीफ जस्टिस को शामिल किया जाए। यह याचिका मौजूदा प्रणाली को पारदर्शी नहीं मानती है।
मौजूदा प्रक्रिया में पारदर्शिता का अभाव-
इस दायर याचिका में यह भी कहा गया है कि मौजूदा व्यवस्था में CAG की नियुक्ति के लिए केंद्रीय कैबिनेट सचिवालय द्वारा प्रधानमंत्री को शॉर्टलिस्ट किए गए नामों की लिस्ट भेजी जाती है। इसके बाद, पीएम की अध्यक्षता वाले पैनल द्वारा उन नामों पर विचार किया जाता है। इन नामों को मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेजा जाता है। राष्ट्रपति द्वारा चुने गए व्यक्तियों को CAG के तौर पर नियुक्त किया जाता है।
पिछली याचिका भी है लंबित-
इससे पहले, पूर्व डिप्टी CAG अनुपम कुलश्रेष्ठ ने भी ऐसी ही याचिका दायर की थी, जो एक साल से लंबित है। Supreme Court ने एक साल पहले इस मामले में नोटिस जारी किया था। अभी तक इस पर सुनवाई नहीं हुई। उस समय, तत्कालीन चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ ने सरकार से इस मुद्दे पर जवाब मांगा था, जिसमें यह कहा गया था कि CAG की नियुक्ति की मौजूदा प्रक्रिया में पारदर्शिता की कमी है।