Edited By Mahima,Updated: 21 Jan, 2025 11:11 AM
आगामी बजट 2025 में टैक्सपेयर्स को राहत मिलने की संभावना है। सरकार न्यू टैक्स रिजीम में स्टैंडर्ड डिडक्शन और टैक्स स्लैब में बदलाव कर सकती है। स्टैंडर्ड डिडक्शन की सीमा बढ़ाकर 1 लाख रुपए और 20% टैक्स स्लैब का दायरा बढ़ाकर 20 लाख रुपए करने की संभावना...
नेशनल डेस्क: आगामी Budget 2025 में टैक्सपेयर्स के लिए बड़ी राहत की उम्मीद जताई जा रही है। रिपोर्ट्स के अनुसार, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण नई टैक्स व्यवस्था में कुछ बड़े बदलावों की घोषणा कर सकती हैं। इन बदलावों का मुख्य उद्देश्य देश की अर्थव्यवस्था को गति देना और आम नागरिकों के हाथ में अधिक पैसे देकर उनकी खर्च क्षमता को बढ़ाना है, जिससे आर्थिक गतिविधियों में सुधार हो सके।
न्यू टैक्स रिजीम में टैक्स छूट में बदलाव
सूत्रों की मानें तो सरकार न्यू टैक्स रिजीम में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव कर सकती है। इनमें सबसे बड़ा बदलाव स्टैंडर्ड डिडक्शन में हो सकता है। वर्तमान में स्टैंडर्ड डिडक्शन की सीमा 75,000 रुपए है, जिसे बढ़ाकर 1 लाख रुपए किया जा सकता है। इसका मतलब है कि अब टैक्सपेयर्स अपनी आय से 1 लाख रुपए तक की राशि को टैक्स फ्री कर सकेंगे, जिससे उनकी टैक्सेबल आय कम हो जाएगी और उन्हें कम टैक्स देना पड़ेगा। यह बदलाव खासतौर पर कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए फायदेमंद होगा, क्योंकि उन्हें अपनी आय से एक बड़ा हिस्सा टैक्स फ्री करने का अवसर मिलेगा। पिछले Budget में सरकार ने स्टैंडर्ड डिडक्शन की सीमा को 50,000 रुपए से बढ़ाकर 75,000 रुपए किया था, लेकिन अब इसे बढ़ाकर 1 लाख रुपए करने से टैक्सपेयर्स को अधिक राहत मिलने की उम्मीद है। इसके अलावा, सरकार नई व्यवस्था को और आकर्षक बनाने के लिए अन्य टैक्स छूट की सीमा भी बढ़ा सकती है, ताकि लोग पुरानी टैक्स नीति को छोड़कर नई व्यवस्था अपनाएं।
20 फीसदी टैक्स स्लैब का दायरा बढ़ने की संभावना
दूसरा महत्वपूर्ण बदलाव जो सरकार प्रस्तावित कर सकती है, वह है 20 फीसदी टैक्स स्लैब का दायरा बढ़ाना। फिलहाल, 12 से 15 लाख रुपए तक की आय वालों पर 20 फीसदी टैक्स लगता है, लेकिन अब सरकार इसे बढ़ाकर 20 लाख रुपए तक करने पर विचार कर रही है। इसका मतलब है कि जिनकी आय 15 से 20 लाख रुपए के बीच है, उन्हें अब पहले की तुलना में कम टैक्स देना होगा। यह बदलाव मध्यम और उच्च आय वर्ग के टैक्सपेयर्स के लिए बड़ी राहत लेकर आ सकता है, क्योंकि उन्हें कम टैक्स देना पड़ेगा और उनके पास अधिक पैसा बच सकेगा, जिसे वे खर्च या निवेश कर सकेंगे।
क्या है प्रधानमंत्री कार्यालय (पी.एम.ओ.) का अंतिम निर्णय
हालांकि, इन टैक्स बदलावों पर अंतिम निर्णय प्रधानमंत्री कार्यालय (पी.एम.ओ.) द्वारा लिया जाएगा। वित्त मंत्रालय ने इस मामले में एक रिपोर्ट सौंपी है, जिसमें यह बताया गया है कि पुरानी टैक्स नीति को विड्रॉ (रद्द) करने के लिए न्यू टैक्स सिस्टम को और आकर्षक बनाना जरूरी है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि फिलहाल न्यू टैक्स सिस्टम में 7 लाख रुपए तक की आय टैक्स फ्री है, और स्टैंडर्ड डिडक्शन की छूट भी मिलती है। हालांकि, वर्तमान में इस नई व्यवस्था में किसी अन्य प्रकार की टैक्स छूट का प्रावधान नहीं है।
जानिए क्या है नए Budget का उद्देश्य
इस Budget में सरकार का उद्देश्य भारतीय अर्थव्यवस्था को और तेज़ गति से आगे बढ़ाना है। नई टैक्स नीति में बदलावों से नागरिकों के हाथ में ज्यादा पैसा होगा, जिससे उनकी खर्च क्षमता बढ़ेगी और घरेलू मांग में वृद्धि होगी। इसके साथ ही, टैक्सपेयर्स के लिए नई व्यवस्था को और आकर्षक बनाने के लिए अतिरिक्त छूट या लाभ दिए जा सकते हैं। इस Budget में उम्मीद की जा रही है कि मध्यम और उच्च आय वर्ग के नागरिकों को सबसे ज्यादा राहत मिलेगी, क्योंकि उन्हें टैक्स में कमी का सीधा फायदा होगा। इसके अलावा, कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन में बढ़ोतरी से उनकी वित्तीय स्थिति बेहतर हो सकती है।
आम Budget 2025 की घोषणा
1 फरवरी को पेश होने वाले आम Budget में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अपने आठवें Budget की घोषणा करेंगी, जो मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का दूसरा पूर्ण Budget होगा। इस Budget से देश की आर्थिक दिशा और विकास के महत्वपूर्ण पहलुओं को आकार मिलेगा, और टैक्सपेयर्स के लिए राहत की कई योजनाएं पेश की जा सकती हैं।