Edited By Parminder Kaur,Updated: 23 Dec, 2024 10:30 AM
इस समय उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्रों में कड़ाके की ठंड पड़ रही है, जिसके कारण तापमान माइनस 10 डिग्री तक गिर गया है। खासकर बद्रीनाथ धाम के पास स्थित उर्वशी धारा बर्फबारी और ठंड के कारण पूरी तरह से जम चुकी है, जो पहले एक सुंदर वाटरफॉल के रूप में...
नेशनल डेस्क. इस समय उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्रों में कड़ाके की ठंड पड़ रही है, जिसके कारण तापमान माइनस 10 डिग्री तक गिर गया है। खासकर बद्रीनाथ धाम के पास स्थित उर्वशी धारा बर्फबारी और ठंड के कारण पूरी तरह से जम चुकी है, जो पहले एक सुंदर वाटरफॉल के रूप में जानी जाती थी।
उर्वशी धारा में पानी जमने का अनोखा दृश्य
उर्वशी धारा आमतौर पर श्रद्धालुओं के लिए एक आकर्षण का केंद्र रहती है, जो अब बर्फबारी और ठंड के कारण पूरी तरह से ठोस हो चुकी है। यहाँ का पानी बहते-बहते जमकर बर्फ का रूप ले चुका है। यह दृश्य पर्यटकों और स्थानीय लोगों के लिए एक अद्भुत और अजीब अनुभव है।
ठंडी हवाओं से निचले हिस्सों का तापमान भी गिरा
उत्तराखंड में पहाड़ों से आने वाली ठंडी हवाओं के कारण न केवल उच्च हिमालयी क्षेत्रों का तापमान गिरा है, बल्कि राज्य के निचले हिस्सों में भी तापमान में गिरावट आई है। ठंडी हवाओं के कारण स्थानीय लोग और पर्यटक सर्दियों का कड़वा एहसास कर रहे हैं।
उच्च हिमालयी क्षेत्रों के गांवों में भी जमे झरने
उत्तराखंड के उच्च हिमालयी क्षेत्रों के आसपास स्थित कई गांवों में भी बर्फबारी के कारण पहाड़ों से गिरते हुए झरने जम गए हैं। खासकर नीति घाटी के टिम्मर सैण क्षेत्र में इस प्रकार की बर्फ की शिलाएं उभरने का दृश्य देखा जा रहा है।
बर्फ की शिलाओं को शुभ संकेत मानते हैं स्थानीय लोग
सर्दियों के दौरान टिम्मर सैण में उभरने वाली बर्फ की शिलाओं को स्थानीय लोग शुभ संकेत मानते हैं। वे इन बर्फीली आकृतियों को 'बाबा बर्फानी' और 'टिम्मर महादेव' के नाम से पुकारते हैं। इन बर्फ की आकृतियों को देखने के लिए श्रद्धालु सर्दियों के दौरान इस स्थान पर आते हैं।