Edited By Radhika,Updated: 09 Jan, 2025 06:18 PM
नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने बृहस्पिवार को कहा कि उनकी पार्टी का नयी दिल्ली से 'लड़ने' का कोई इरादा नहीं है और वह जम्मू कश्मीर के ज्वलंत मुद्दों के समाधान के लिए केंद्र सरकार के साथ सहयोग करना चाहती है।
नेशनल डेस्क: नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने बृहस्पिवार को कहा कि उनकी पार्टी का नयी दिल्ली से 'लड़ने' का कोई इरादा नहीं है और वह जम्मू कश्मीर के ज्वलंत मुद्दों के समाधान के लिए केंद्र सरकार के साथ सहयोग करना चाहती है। 'इंडिया' गठबंधन के भीतर एकता के बारे में चिंताओं पर अब्दुल्ला ने कहा कि गठबंधन केवल चुनाव लड़ने के लिए नहीं है, बल्कि यह भारत को मजबूत करने और नफरत को खत्म करने के लिए है। उन्होंने कहा, "गठबंधन स्थायी है - यह हर दिन और हर पल के लिए है।" वह विभिन्न मुद्दों पर मीडिया के सवालों का जवाब दे रहे थे, जिनमें मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को "नयी दिल्ली का आदमी" कहा जाना, आप और कांग्रेस द्वारा दिल्ली चुनाव अलग-अलग लड़ने के कारण 'इंडिया' गठबंधन में दरार, जम्मू कश्मीर में दोहरी सत्ता संरचना, महाकुंभ और तिरुपति भगदड़ शामिल थे। पूर्व मुख्यमंत्री ने यहां संवाददाताओं से कहा, "हम नयी दिल्ली से लड़ना नहीं चाहते। हम राज्य की समस्याओं को सुलझाने के लिए दिल्ली के साथ मिलकर काम करना चाहते हैं। हम लड़ाई में शामिल नहीं होना चाहते। जो लड़ना चाहते हैं वे ऐसा कर सकते हैं।" उन्होंने जम्मू कश्मीर में बेरोजगारी पर चिंता व्यक्त करते हुए इसे क्षेत्र का एक महत्वपूर्ण मुद्दा बताया। उन्होंने कहा, "जब यहां बेरोजगारी इतनी गंभीर है तो लोगों की समस्या का समाधान कैसे होगा? हमारे अस्पताल और स्कूल बहुत खराब स्थिति में हैं। हमें शिक्षकों, चिकित्सकों और चिकित्सा सहायकों की जरूरत है, लेकिन इसके बजाय अनावश्यक लड़ाइयां लड़ी जा रही हैं।"
अब्दुल्ला ने कहा कि उनकी पार्टी नेशनल कॉन्फ्रेंस का भाजपा से कोई लेना-देना नहीं है, लेकिन स्थानीय मुद्दों को सुलझाने में राज्य सरकारों का समर्थन करना केंद्र सरकार की जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा, "हम भाजपा के साथ नहीं हैं और न ही हमारा उनसे कोई संबंध है।" अपने बेटे और मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के नयी दिल्ली से प्रभावित होने के दावों पर नेशनल कॉन्फ्रेंस प्रमुख ने कहा, "उमर अब्दुल्ला को लोगों ने मुख्यमंत्री चुना है। वह किसी के निर्देश पर काम नहीं करते। वह अपने फैसले पर काम करते हैं। जो लोग इस गलतफहमी में हैं, उन्हें इससे बाहर आ जाना चाहिए।" बुधवार को तिरुपति मंदिर में हुई भगदड़ के बारे में पूछे गए एक प्रश्न का उत्तर देते हुए (जिसमें छह तीर्थयात्रियों की मौत हो गई थी) उन्होंने सरकार से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि धार्मिक स्थलों और त्योहारों के दौरान जानमाल की हानि को विशेष रूप से रोका जाए। उन्होंने पूजा स्थलों पर सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सक्रिय योजना बनाने के महत्व पर प्रकाश डाला, क्योंकि इन स्थानों पर लाखों श्रद्धालु आते हैं।
उन्होंने भारत में ऐसे आयोजनों के सांस्कृतिक और धार्मिक महत्व को रेखांकित करते हुए कहा, "महाकुंभ के निकट आने के साथ, अधिकारियों को किसी भी कुप्रबंधन से बचने के लिए पर्याप्त उपाय करने चाहिए। यह बारह वर्षों में एक बार होने वाला आयोजन है, जिसमें लाखों लोग गंगा नदी में स्नान करने आते हैं। सरकार को किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए उचित व्यवस्था सुनिश्चित करनी चाहिए।" 'इंडिया' गठबंधन के भीतर चल रही कलह के बारे में पूछे गए एक सवाल पर अब्दुल्ला ने कहा, "गठबंधन सिर्फ चुनाव लड़ने के लिए नहीं है। यह भारत को मजबूत करने और नफरत को खत्म करने के लिए है। जो लोग मानते हैं कि यह गठबंधन सिर्फ संसदीय चुनावों के लिए है, वे गलत हैं। गठबंधन स्थायी है - यह हर दिन और हर पल के लिए है।"