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क्या होता है Waqf बोर्ड, Modi सरकार क्यों नकेल लगाना चाहती है इसपर ?

Edited By Utsav Singh,Updated: 10 Aug, 2024 08:07 PM

what is waqf board why does the government want to curb it

केंद्र सरकार ने वक्फ बोर्ड से जुड़े महत्वपूर्ण बदलावों की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। रिपोर्ट के अनुसार, केंद्रीय कैबिनेट ने वक्फ एक्ट में 40 संशोधनों पर चर्चा की है, जिनके तहत वक्फ बोर्ड की संपत्ति घोषित करने की क्षमता में बदलाव किए जाएंगे।

नेशनल डेस्क : केंद्र सरकार ने वक्फ बोर्ड से जुड़े महत्वपूर्ण बदलावों की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। रिपोर्ट के अनुसार, केंद्रीय कैबिनेट ने वक्फ एक्ट में 40 संशोधनों पर चर्चा की है, जिनके तहत वक्फ बोर्ड की संपत्ति घोषित करने की क्षमता में बदलाव किए जाएंगे। केंद्र सरकार वक्फ एक्ट में इन प्रस्तावित बदलावों को लागू करने के लिए जल्द ही संसद में एक विधेयक पेश कर सकती है। इस विधेयक के माध्यम से वक्फ बोर्ड की भूमिका और अधिकारों में बदलाव किए जाएंगे, जिससे संपत्तियों की घोषणा और विवादों के निपटारे में पारदर्शिता और स्पष्टता सुनिश्चित की जा सकेगी। वक्फ एक्ट में प्रस्तावित ये बदलाव वक्फ बोर्ड की कार्यप्रणाली को अधिक नियंत्रित और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हैं। इससे वक्फ संपत्तियों की पहचान और प्रबंधन में सुधार होगा, और किसी भी विवाद को हल करने में विधिक प्रक्रिया को मजबूत किया जाएगा। आइए जानते है क्या होता है वक्फ बोर्ड...

वक्फ क्या है?
वक्फ एक अरबी शब्द है जिसका मतलब है खुदा के नाम पर अर्पित वस्तु या लोकहितार्थ दान किया गया धन। इस्लाम में वक्फ का तात्पर्य किसी संपत्ति जैसे पैसे, जमीन, मकान या अन्य कीमती वस्तु को धार्मिक या परोपकारी उद्देश्यों के लिए दान करने से है। वक्फ की संपत्तियां चल और अचल दोनों प्रकार की हो सकती हैं और इनका प्रबंधन स्थानीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक वक्फ बोर्ड और संबंधित संस्थाओं द्वारा किया जाता है। एक बार संपत्ति वक्फ हो गई तो फिर उसे मालिक वापस नहीं ले सकता है। 

वक्फ बोर्ड की भूमिका
वक्फ बोर्ड का मुख्य उद्देश्य दान में प्राप्त संपत्तियों का उचित प्रबंधन करना है। यह संपत्तियां गरीबों और जरूरतमंदों की सहायता, शिक्षा व्यवस्था, मस्जिदों का निर्माण और मरम्मत, और अन्य धर्मार्थ कार्यों में योगदान देती हैं। भारत में वक्फ संपत्तियों का प्रबंधन वक्फ एसेट्स मैनेजमेंट सिस्टम ऑफ इंडिया (Waqf Assets Management System of India) के तहत 30 वक्फ बोर्डों द्वारा किया जाता है, जिनमें से अधिकांश के मुख्यालय दिल्ली में स्थित हैं। केंद्र सरकार का केंद्रीय वक्फ परिषद (Central Waqf Council) इन बोर्डों के साथ समन्वय स्थापित करता है। एक बार संपत्ति वक्फ हो जाने के बाद, उसे वापस लेना संभव नहीं होता।

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वक्फ एक्ट 1954
1954 में जवाहरलाल नेहरू की सरकार के दौरान वक्फ एक्ट (Waqf Act 1954) पारित किया गया। इस एक्ट का उद्देश्य वक्फ से संबंधित कार्यों को सरल और स्पष्ट बनाना था। इस एक्ट के तहत वक्फ संपत्तियों पर दावे, उनके रखरखाव और प्रबंधन के दिशा-निर्देश प्रदान किए गए। 1964 में इस एक्ट के तहत केंद्रीय वक्फ परिषद का गठन हुआ, जो वक्फ बोर्डों की गतिविधियों पर केंद्र सरकार को सलाह देती है।

वक्फ एक्ट 1995 में संशोधन
1995 में वक्फ एक्ट में संशोधन किया गया, जिससे हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेश में वक्फ बोर्डों के गठन की अनुमति दी गई। इस संशोधन के बाद वक्फ बोर्डों की संख्या और उनकी पहुंच में वृद्धि हुई।

वक्फ बोर्ड के पास संपत्तियां
वक्फ बोर्ड के पास कुल मिलाकर 8 लाख एकड़ से ज्यादा जमीन है। 2009 में यह आंकड़ा 4 लाख एकड़ था, जो अब दोगुना हो चुका है। इन संपत्तियों में ज्यादातर मस्जिदों, मदरसों, और कब्रगाहों की हैं। दिसंबर 2022 तक वक्फ बोर्ड के पास कुल 8,65,644 अचल संपत्तियां थीं। वक्फ बोर्ड को अधिकांश संपत्तियां मुस्लिम शासनकाल जैसे दिल्ली सल्तनत और मुगलों के समय में प्राप्त हुईं, और विभाजन के समय पाकिस्तान जाने वाले मुसलमानों ने भी अपनी संपत्तियां वक्फ को दान कर दी थीं। वक्फ बोर्ड के पास भारतीय सेना और रेलवे के बाद सबसे ज्यादा जमीन है। यानी, वक्फ बोर्ड देश का तीसरा सबसे बड़ा जमीन मालिक है। 

वक्फ बोर्ड के अधिकार और विवाद
वक्फ बोर्ड को संपत्तियों की जांच और उन पर दावे करने का अधिकार प्राप्त है। यदि बोर्ड किसी संपत्ति पर दावा करता है, तो इसे चुनौती देना और पलटना मुश्किल हो जाता है। वक्फ एक्ट के सेक्शन 85 के अनुसार, बोर्ड के फैसले को सुप्रीम कोर्ट या हाई कोर्ट में चुनौती नहीं दी जा सकती, जिससे वक्फ बोर्ड के अधिकारों को लेकर अक्सर विवाद उत्पन्न होते हैं।

वक्फ की संरचना और प्रबंधन
भारत में एक केंद्रीय वक्फ काउंसिल और 32 राज्य वक्फ बोर्ड हैं। केंद्रीय अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री केंद्रीय वक्फ काउंसिल के पदेन अध्यक्ष होते हैं। प्रत्येक राज्य में एक अलग वक्फ बोर्ड होता है, जिसमें एक अध्यक्ष, राज्य सरकार द्वारा नामित व्यक्ति, मुस्लिम विधायक और सांसद, राज्य बार काउंसिल के मुस्लिम सदस्य और इस्लाम के जानकार शामिल होते हैं।

वक्फ बोर्ड की भूमि का आकार
वक्फ बोर्ड के पास भारतीय सेना और रेलवे के बाद देश की सबसे बड़ी भूमि का मालिकाना है। वक्फ मैनेजमेंट सिस्टम ऑफ इंडिया के अनुसार, वक्फ बोर्डों के पास कुल 8 लाख 54 हजार 509 संपत्तियां हैं, जो लगभग 8 लाख एकड़ से अधिक जमीन पर फैली हुई हैं।

देशभर में 1 सेंट्रल और 32 स्टेट बोर्ड
देश में एक सेंट्रल वक्फ काउंसिल और 32 स्टेट बोर्ड है। केंद्रीय अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री सेंट्रल वक्फ काउंसिल का पदेन अध्यक्ष होता है। हर राज्य के अलग-अलग वक्फ बोर्ड होते हैं। इस समय देश के 32 राज्यों में वक्फ बोर्ड है। 

वक्फ एक्ट में प्रस्तावित बदलाव

  1. संपत्ति के दावे पर वेरिफिकेशन: नए बदलावों के अनुसार, वक्फ बोर्ड अब किसी भी संपत्ति को वक्फ संपत्ति घोषित नहीं कर सकेगा बिना उसके अनिवार्य वेरिफिकेशन के। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि किसी भी संपत्ति पर वक्फ बोर्ड द्वारा दावा करने से पहले उसकी सटीकता और वैधता की जांच की जाए।

  2. विवादित संपत्तियों का वेरिफिकेशन: यदि वक्फ बोर्ड और किसी अन्य व्यक्ति के बीच संपत्ति को लेकर विवाद उत्पन्न होता है, तो इस विवाद के समाधान के लिए भी वेरिफिकेशन प्रक्रिया लागू की जाएगी। इससे यह सुनिश्चित होगा कि संपत्तियों के संबंध में किसी भी प्रकार की अनियमितता और विवाद को न्यायसंगत तरीके से हल किया जा सके।

 

 

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