Edited By Parveen Kumar,Updated: 26 Jan, 2025 12:21 AM
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को इस राज्य को चार हिस्सों में बांटने की कुछ हलकों से हो रही मांग खारिज करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश की ताकत इसकी एकता में है।
नेशनल डेस्क : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को इस राज्य को चार हिस्सों में बांटने की कुछ हलकों से हो रही मांग खारिज करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश की ताकत इसकी एकता में है। यहां महाकुंभ मेले में ‘नेटवर्क 18' के समूह संपादक राहुल जोशी को दिए एक विशेष साक्षात्कार में उन्होंने लोगों से एकता का संदेश आगे लेकर जाने का आग्रह करते हुए कहा कि यदि सनातन धर्म मजबूत है तो ही यह देश मजबूत होगा।
आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश को एकजुट रहकर अपनी पहचान और सम्मान बनाए रखना चाहिए और यह राज्य जल्द ही एक हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने का लक्ष्य हासिल कर लेगा। मुख्यमंत्री से जब बहुजन समाज पार्टी (बसपा) प्रमुख मायावती द्वारा पूर्व में दिए गए इस बयान के बारे में पूछा गया कि इस राज्य को चार भागों में बांट दिया जाना चाहिए, उन्होंने कहा, “यूपी अपने आप में यूपी है और यही इसकी ताकत है। मुझे लगता है कि यूपी को अखंड रहकर अपने लक्ष्य हासिल करने चाहिए।”
आदित्यनाथ ने यह भी कहा, “महाकुंभ का संदेश, एकता और अखंडता का संदेश है और यह संदेश दुनिया को जाना चाहिए। यदि सभी संत, श्रद्धालु और यहां तक कि महाकुंभ का हिस्सा बने पर्यटक एकता के संदेश को लेकर दुनिया में जाते हैं तो सनातन धर्म और मजबूत होगा और यदि सनातन धर्म मजबूत होगा तो हमारा देश मजबूत होगा।” उन्होंने कहा कि अपने राजनीतिक हित के लिए या जाति, क्षेत्र या भाषा के नाम पर समाज को बांटना देशद्रोह से कम नहीं है।
मुख्यमंत्री ने कहा, “यदि आप समाज को बांटकर और परिवारवाद को प्रोत्साहित कर सत्ता में आने का प्रयास करते हैं तो यह देश आपको माफ नहीं करेगा। हम बांटना नहीं चाहते, हमें भारत को मजबूत करना है। भारत की ताकत, सनातन धर्म की ताकत है।” ‘बंटोगे तो कटोगे' नारे के अर्थ के बारे में पूछे जाने पर आदित्यनाथ ने कहा, “हरियाणा चुनाव के दौरान, मैं मथुरा गया और मुझे आगरा में दुर्गा दास राठौड़ की प्रतिमा का अनावरण करने का अवसर मिला। मध्यकालीन युग में दुर्गादास राठौड़, जोधपुर के राजा जसवंत सिंह के बहुत बहादुर सेनापति थे।
राठौड़ ने राजपरिवार की रक्षा की।” उन्होंने कहा कि जब राजकुमार अजित सिंह बड़े हुए तो उन्हें जोधपुर का राजा बनाया गया और उस कहानी से जुड़े सभी लोग और तेली जाति से जुड़े लोग आगरा में एक प्रतिमा लगाना चाहते थे, लेकिन कुछ समुदाय इसका विरोध कर रहे थे और अंत में समझौता हुआ और प्रतिमा स्थापित हुई और “वहीं मैंने बंटोगे तो कटोगे” नारा दिया। राज्य को एक हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने की समय सीमा के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, वर्ष 2029 के लिए समय सीमा तय की गई है। उन्होंने कहा, “पिछले सात आठ वर्षों में हम कोरोना महामारी के बावजूद हमारी अर्थव्यवस्था दोगनी करने में सफल रहे। मुझे लगता है कि हम वर्ष 2029 तक एक हजार अरब डॉलर का सपना पूरा कर लेंगे।
महाकुंभ में आर्थिक गतिविधि का राज्य की जीडीपी में 10 प्रतिशत का योगदान रहने की संभावना है।” शिक्षा के मुद्दे पर और शिक्षा क्षेत्र को बजट आबंटन के मुद्दे पर उन्होंने कहा, यदि दिल्ली के शिक्षा मंत्री उत्तर प्रदेश आएं तो उन्हें कुछ सीखने को मिलेगा, क्योंकि यहां का शिक्षा का बजट दिल्ली के पूरे बजट के जितना है। मुख्यमंत्री ने कहा, “मैं कहूंगा कि जैसे हमने पूरी कैबिनेट के साथ संगम में डुबकी लगाई, उन्हें यमुना में डुबकी लगानी चाहिए।” उन्होंने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के हाल के बयान पर भी जवाब दिया जिसमें भागवत ने कहा था कि हर मस्जिद के नीचे मंदिर नहीं तलाशना चाहिए। आदित्यनाथ ने कहा, “यह संभल से नहीं जुड़ा था। आपने देखा होगा कि ‘पांचजन्य' में भी स्पष्ट किया गया कि यह सच्चाई का पता लगाने के लिए सोमनाथ से संभल तक की यात्रा है।”