Edited By Ashutosh Chaubey,Updated: 19 Apr, 2025 12:10 PM
गाने हमारी जिंदगी का हिस्सा होते हैं। हम उन्हें खुशी, ग़म, अकेलेपन और जश्न के समय सुनते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि एक ऐसा गाना भी है जिसे सुनकर 100 से ज़्यादा लोगों ने आत्महत्या कर ली थी?
इंटरनेशनल डेस्क: गाने हमारी जिंदगी का हिस्सा होते हैं। हम उन्हें खुशी, ग़म, अकेलेपन और जश्न के समय सुनते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि एक ऐसा गाना भी है जिसे सुनकर 100 से ज़्यादा लोगों ने आत्महत्या कर ली थी? जी हां, ये सच्चाई किसी फिल्म की स्क्रिप्ट जैसी लग सकती है लेकिन ये इतिहास की सबसे रहस्यमयी और खौफनाक सच्चाई है।
कौन-सा है ये खतरनाक गाना?
इस मनहूस गाने का नाम है “Gloomy Sunday”। यह गाना 1933 में हंगरी के रेज़सो सेरेस द्वारा लिखा गया था। इसके बोल इतने दुखद और भावुक थे कि जिसने भी इसे गहराई से सुना, वह अंदर से टूट गया। 1935 में गाना रिलीज हुआ और इसके तुरंत बाद एक व्यक्ति ने आत्महत्या कर ली। उसके सुसाइड नोट में साफ तौर पर लिखा था कि उसने यह गाना सुना और खुद को मार लिया।
एक-एक कर मरते गए लोग
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गाने के राइटर रेज़सो सेरेस की मंगेतर ने भी गाना सुनने के बाद जहर खाकर आत्महत्या कर ली।
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खुद रेज़सो ने भी 1968 में खुदकुशी कर ली।
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रिपोर्ट्स के अनुसार, दो लोगों ने खुद को गोली मार ली थी।
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एक महिला ने गाना सुनने के बाद पानी में कूदकर जान दे दी।
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इन सभी घटनाओं के कारण यह गाना दुनियाभर में डर का कारण बन गया।
क्यों कहा जाता है इसे दुनिया का सबसे मनहूस गाना?
‘Gloomy Sunday’ को सुनने के बाद लोगों को ऐसा लगता था जैसे उनका दिल डूब गया हो। यह गाना तनाव, अकेलापन और जीवन के दुखों को बहुत गहराई से दर्शाता है। उस समय हंगरी में आर्थिक तंगी, बेरोजगारी और सामाजिक तनाव पहले से ही चरम पर थे। जब लोग इस गाने को सुनते थे तो उन्हें लगता कि ये गाना उनकी अपनी ही कहानी कह रहा है।
आखिर क्या है इस गाने में?
जब इस गाने के बोलों का विश्लेषण किया गया तो पाया गया कि इसमें जिंदगी की निराशा, अकेलापन, इंसानियत की टूटन और मौत का जिक्र था। उस दौर में ये सब बातें आम थीं लेकिन इस गाने ने इन्हें इस कदर छू लिया कि लोग भावनात्मक रूप से कमजोर होकर आत्मघाती कदम उठा लेते थे।
गाने पर लगाया गया था बैन
लगातार हो रही आत्महत्याओं के बाद सरकार ने 1960 के दशक में इस गाने पर बैन लगा दिया। ना इसे रेडियो पर बजाया जाता था, ना ही किसी मंच पर। यह गाना इतिहास के उन चुनिंदा गीतों में से एक बन गया, जिस पर आधिकारिक रूप से रोक लगी।
62 साल बाद हटा बैन
अब 2025 में, 62 साल बाद इस गाने से बैन हटा दिया गया है। हालांकि यह फैसला कई संगीतप्रेमियों के लिए रोमांचक हो सकता है, लेकिन बहुत से लोग अब भी मानते हैं कि इस गाने को फिर से चलन में लाना खतरे से खाली नहीं है।